अब सोना खरीदते समय शुद्धता की होगी गारंटी
जागरण संवाददाता गाजीपुर अब सोना खरीदते समय उसकी शुद्धता को लेकर कोई संदेह नहीं रहेगा।
जागरण संवाददाता, गाजीपुर : अब सोना खरीदते समय उसकी शुद्धता को लेकर कोई संदेह नहीं रहेगा। सरकार ने 15 जून से हालमार्किंग अनिवार्य कर दिया है। यह धातु की शुद्धता का प्रमाण है। सोने की 14 कैरेट, 18 कैरेट और 22 कैरेट ज्वेलरी पर 15 जून से हालमार्किंग अनिवार्य होगी। यानी बिना हालमार्किंग के अब सोने की ज्वेलरी नहीं मिलेगी। सरकार के इस निर्णय से ग्राहकों में खुशी की लहर है कि अब वे ठगे नहीं जाएंगे। वहीं सोना व्यवसायियों ने इसका स्वागत किया।
वर्तमान में हालमार्किंग स्वैच्छिक थी। सरकार का कहना था हालमार्किंग अनिवार्य होने से ग्राहकों के साथ धोखाधड़ी की आशंका नहीं रह जाएगी। इसके लिए पंजीकरण प्रक्रिया आनलाइन और आटोमैटिक कर दी गई है। इसका मकसद आवेदन पर जल्द विचार कर उसे कम समय में मंजूरी देना है। भारत सरकार द्वारा बीआइएस (ब्यूरो आफ इंडियन स्टैंडर्ड) में सभी ज्वेलर्स को रजिस्टर्ड करने की डेडलाइन 15 जून दी गई है, हम सभी ज्वेलर्स सिर्फ इतनी मांग करते हैं कि इस डेडलाइन को आगे बढ़ाया जाए जिससे ज्यादा से ज्यादा सर्राफा व्यापारी बीआइएस में अपना रजिस्ट्रेशन करा सकें।
- संतोष वर्मा, सराफा व्यवसायी। - जिले में बीआइएस का पंजीकरण आफिस नहीं है इसलिए हम सभी ज्वेलर्स इस बात की मांग करते हैं कि सरकार इस डेडलाइन को आगे बढ़ाए ताकि ज्यादा से ज्यादा दुकानदार पंजीकरण कराने के लिए लाइसेंस हालमार्क के लिए अधिकृत हो सकें।
- अनूप वर्मा, सराफा व्यवसायी। सरकार द्वारा हालमार्क लागू करने पर उसका सबसे ज्यादा असर छोटे कारीगरों पर पड़ेगा, क्योंकि वह बहुत कम समान बनाते हैं, फिर हालमार्क लगवाने के लिए कहां जाएंगे। हालांकि इससे ग्राहकों को हालमार्किंग वाला सामान पाकर काफी संतुष्टि मिलेगी।
- प्रेम प्रकाश वर्मा, सराफा व्यापारी, सुकहा। सरकार द्वारा हाल मार्क की नई व्यवस्था लागू करने पर इसका असर बड़े व्यापारियों पर तो कम पड़ेगा, लेकिन छोटे व्यापारी व कारीगर को मुश्किलों का सामना करना पड़ सकता है।
- जितेंद्र वर्मा, स्वर्ण व्यवसायी, सोनबरसा।