इंदिरापुरम के सीवर व पेयजल पाइपलाइन की डीपीआर फाइलों में रुकी

धनंजय वर्मा साहिबाबाद इंदिरापुरम में सीवर और पेयजल की समस्या से समाधान के लिए गाजियाबाद विकास प्राधिकरण (जीडीए) की ओर से तैयार कराई गई डिटेल प्रोजेक्ट रिपोर्ट (डीपीआर) फाइलों में दबी है। अभी तक डीपीआर को शासन से मंजूरी नहीं मिली है। वहीं दूसरी ओर आए दिन सीवर ओवरफ्लो व पेयजल पाइपलाइन में लीकेज से लोग परेशान हैं।

By JagranEdited By: Publish:Sun, 19 Sep 2021 10:19 PM (IST) Updated:Sun, 19 Sep 2021 10:19 PM (IST)
इंदिरापुरम के सीवर व पेयजल पाइपलाइन की डीपीआर फाइलों में रुकी
इंदिरापुरम के सीवर व पेयजल पाइपलाइन की डीपीआर फाइलों में रुकी

धनंजय वर्मा, साहिबाबाद : इंदिरापुरम में सीवर और पेयजल की समस्या से समाधान के लिए गाजियाबाद विकास प्राधिकरण (जीडीए) की ओर से तैयार कराई गई डिटेल प्रोजेक्ट रिपोर्ट (डीपीआर) फाइलों में दबी है। अभी तक डीपीआर को शासन से मंजूरी नहीं मिली है। वहीं दूसरी ओर आए दिन सीवर ओवरफ्लो व पेयजल पाइपलाइन में लीकेज से लोग परेशान हैं।

इंदिरापुरम में 30 साल पहले की आबादी के अनुसार पेयजल व सीवर पाइपलाइन डाली गई थी। उस वक्त इंदिरापुरम की आबादी करीब 10 हजार ही थी। दिन-प्रतिदिन आबादी बढ़ती गई। इंदिरापुरम की आबादी अब लाखों में हो गई है। ऐसे में क्षमता के अनुसार इंदिरापुरम के विभिन्न इलाकों में पेयजल व सीवर की क्षमता कम है। कई जगह पाइपलाइन क्षतिग्रस्त हो गई हैं। इससे इंदिरापुरम में पेयजल के साथ सीवर ओवरफ्लो होने की समस्या है। वर्ष 2019 में जीडीए ने एक निजी एजेंसी से सीवर व पेयजल पाइपलाइन का सर्वे कराया था। एजेंसी सर्वे कर सीवर पाइपलाइन व पेयजल पाइपलाइन की डीपीआर तैयार की थी। जीडीए ने डीपीआर प्रशासन को भेजी है। डीपीआर पर काम करने की अनुमति व फंड मिलने के बाद ही काम शुरू होगा।

166 करोड़ रुपये की जरूरत : जीडीए अधिकारियों से मिली जानकारी के मुताबिक, डीपीआर में एजेंसी ने बताया था कि इंदिरापुरम में कई स्थानों पर सीवर व पेयजल पाइपलाइन बदली जानी है। कुछ स्थानों पर मरम्मत से भी काम हो सकता है। पाइपलाइन क्षतिग्रस्त होने से गंदे पेयजल की आपूर्ति व कम दबाव से पेयजल पहुंचने समेत अन्य समस्याएं हैं। पेयजल पाइपलाइन का काम कराने में 84 करोड़, सीवरलाइन का काम कराने में 82 करोड़ रुपये की लागत आएगी। -----

वर्जन.. डीपीआर पर अब तक काम शुरू हो जाना चाहिए था। सीवर और पेयजल पर काम करने के साथ नालियों को भी ठीक करने की जरूरत है, ताकि सड़कों पर जलभराव न हो। -अभिनव जैन, पार्षद, इंदिरापुरम।

---------- यदि जीडीए के पास फंड नहीं है तो अमृत योजना के तहत दावेदारी करनी चाहिए थी। पेयजल व सीवरलाइन डालना बेहद जरूरी है। तभी लोगों को राहत मिलेगी।-अमरीश गर्ग, अध्यक्ष, फेडरेशन आफ एओए। --- इंदिरापुरम में सीवर और पेयजल की समस्या को लेकर तैयार कराई गई डीपीआर शासन को भेजी गई है। उम्मीद है कि जल्द ही डीपीआर को शासन से मंजूरी मिल जाएगी। बजट जारी होने के बाद काम शुरू होगा।-एके चौधरी, अधिशासी अभियंता, जीडीए।

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