सर्विलांस सेल का निलंबित दीवान बनाया गया भ्रष्टाचार के मुकदमे में आरोपित

जागरण संवाददाता फर्रुखाबाद जन सेवा केंद्र संचालक को हिरासत में लेकर दो लाख रुपये की रिश्

By JagranEdited By: Publish:Sat, 16 Oct 2021 07:59 PM (IST) Updated:Sat, 16 Oct 2021 07:59 PM (IST)
सर्विलांस सेल का निलंबित दीवान बनाया गया भ्रष्टाचार के मुकदमे में आरोपित
सर्विलांस सेल का निलंबित दीवान बनाया गया भ्रष्टाचार के मुकदमे में आरोपित

जागरण संवाददाता, फर्रुखाबाद : जन सेवा केंद्र संचालक को हिरासत में लेकर दो लाख रुपये की रिश्वत मांगने के मामले में अब सर्विलांस सेल का निलंबित दीवान को भ्रष्टाचार के मुकदमे में आरोपित बना लिया गया है। जांच अधिकारी तीनों के खिलाफ साक्ष्य जुटा रहे हैं। ताकि तीनों की गिरफ्तारी की जा सके। गिरफ्तारी के भय से आरोपित पुलिस कर्मी फरार हो गए हैं।

मेरापुर थाना क्षेत्र के गांव नूरनगर निवासी जनसेवा केंद्र संचालक रंजीत शाक्य को 10 अक्टूबर को अचरा चौकी के सिपाही रिकू यादव और कपिल यादव उसे कार में डालकर आवास विकास चौकी ले गए थे। छोड़ने के लिए पर संचालक से दो लाख रुपये की रिश्वत मांगी गई थी। दोनों पुलिस कर्मियों ने रंजीत से कार में तीन हजार रुपये का पेट्रोल डलवाया। इस मामले में सर्विलांस सेल का दीवान सत्येंद्र यादव का नाम सामने आया। तब पता चला कि सत्येंद्र ही पूरे मामले का मुख्य सरगना है। अमृतपुर विधायक सुशील शाक्य के हस्तक्षेप पर विभाग में हलचल मची तो आनन फानन में तीनों पुलिस कर्मियों निलंबित कर दिया गया था। इसके बाद रंजीत की तहरीर पर अज्ञात पुलिस कर्मियों के खिलाफ भ्रष्टाचार का मुकदमा दर्ज किया गया। जांच अधिकारी कायमगंज क्षेत्राधिकारी सोहराब आलम ने पहले अचरा चौकी के दोनों सिपाहियों को मुकदमे में आरोपित बनाया। अब उन्होंने निलंबित दीवान को भी आरोपित बना दिया। मुकदमे के बाद से तीनों पुलिस कर्मी फरार हो गए। तीनों पुलिस कर्मियों की गिरफ्तारी के लिए साक्ष्य जुटाए जा रहे हैं। पुलिस अधीक्षक अशोक कुमार मीणा ने बताया कि गहनता से जांच की जा रही है। इस मामले में जो भी दोषी होगा, उसके खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी। छह दिन बीते नहीं कराई आमद

छह दिन बीतने के बाद भी तीनों पुलिस कर्मियों ने अभी तक पुलिस लाइन में अपनी आमद नहीं कराई है। बराबर वह नियम का उल्लंघन करते चले आ रहे हैं। विभागीय सूत्रों के मुताबिक गिरफ्तारी के भय से तीनों पुलिस कर्मियों ने जिला छोड़ दिया है। साक्ष्य पूरे होने पर तीनों की गिरफ्तारी की जाएगी। काफी समय से चल रहा था वसूली का रैकेट

मेरापुर थाना क्षेत्र के गांव नूरनगर निवासी जनसेवा केंद्र संचालक रंजीत शाक्य को हिरासत में लेकर छोड़ने के नाम पर दो लाख रुपये की मांग करने के मामले में सर्विलांस सेल का एक दीवान और अचरा पुलिस चौकी के दो सिपाहियों को निलंबित किया जा चुका है। सिपाहियों के खिलाफ भ्रष्टाचार का मुकदमा भी दर्ज है। इस मामले में यह साबित हो गया कि सर्विलांस सेल का दीवान काफी समय से अवैध वसूली कर रहा था। उसके साथ में शहर से लेकर देहात थानों पर तैनात सजातीय पुलिस कर्मचारी सहयोग कर रहे थे। सर्विलांस सेल में तैनात होने की वजह से कुछ लोग विरोध करने से भी कतराते थे। क्योंकि सर्विलांस सेल का कार्यालय पुलिस अधीक्षक आवास पर है। मोबाइल गुम होने के नाम पर लोगों को पकड़कर मोटी रकम लेकर छोड़ जाता था। तत्कालीन पुलिस अधीक्षक संतोष मिश्रा के समय में 100 से अधिक गुम मोबाइल की बरामदगी के बाद मोबाइल धारक को सौंप गए, लेकिन किसी की भी गिरफ्तारी नहीं दर्शाई गई। इसके बाद भी मोबाइल बरामद कर सौंपे गए। इससे जाहिर है कि काफी दिनों से अवैध वसूली का खेल चल रहा था।

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