कल्याणकारी शिव की पूजा-अर्चना कर मांगी सुख-शांति

जागरण संवाददाता इटावा श्रावण मास के द्वितीय सोमवार को बारिश होने के बावजूद भोलेनाथ के क

By JagranEdited By: Publish:Mon, 02 Aug 2021 08:10 PM (IST) Updated:Mon, 02 Aug 2021 08:10 PM (IST)
कल्याणकारी शिव की पूजा-अर्चना कर मांगी सुख-शांति
कल्याणकारी शिव की पूजा-अर्चना कर मांगी सुख-शांति

जागरण संवाददाता, इटावा : श्रावण मास के द्वितीय सोमवार को बारिश होने के बावजूद भोलेनाथ के कई सिद्ध स्थलों पर उनके भक्त पहुंच गए। ग्रामीण क्षेत्र के अधिकांश मंदिरों में शिवशंकर के प्रति श्रद्धा उमड़ी। कई जगह शिवशंकर भगवान को प्रसन्न करने के लिए भजन-कीर्तन किया गया। अधिकतर शिवालयों में भगवान आशुतोष का सपरिवार विभिन्न प्रकार से श्रृंगार किया गया। चारों ओर हर-हर महादेव तथा ओउ्म नम: शिवाए से वातावरण गुंजायमान हुआ।

आषाढ़ मास में शुक्ल पक्ष की एकादशी को श्रीहरि के योग निद्रा में चले जाने के पश्चात चार मास तक भोले बाबा की पूजा-अर्चना काफी कल्याणकारी सिद्ध होती है। इसके तहत श्रावण मास का बहुत ज्यादा महत्व है इससे जनपद के कई सिद्ध स्थलों पर प्राचीन काल से मेला लगाकर भोले बाबा का गुणगान किया जाता रहा है। बीते साल से कोरोना को लेकर सिद्ध स्थलों पर पुलिस का पहरा होने से भोले बाबा के अधिकांश भक्त घरों तथा मंदिरों पर कोरोना प्रोटोकॉल का पालन करते हुए पूजा अर्चना कर रहे है। शहर के सिद्ध स्थल कहे जाने वाले नीलकंठ महादेव मंदिर पर है शारीरिक दूरी के नियम का पालन करते हुए तड़के से ही जलाभिषेक कार्यक्रम शुरू हो गया था। शाम को हर प्रकार की सूखी मेवा से भोले बाबा नीलकंठ महादेव के दरबार को भव्यता से सजाया गया। मंदिर समिति अध्यक्ष राजेश बाजपेई ने बताया कि शिवभक्तों के साथ पुलिस और नगरपालिका भरपूर सहयोग कर रही है जिससे भीड़ होने के बावजूद पांच-पांच लोग कतारबद्ध होकर दर्शन कर रहे हैं।

शहर के अन्य मंदिरों में प्राचीन शिव मंदिर ईदगाह चौराहा तथा फ्रेंड्स कालोनी स्थित ज्ञान मंदिर पर शिवशंकर का सपरिवार फूलों और फलों के साथ गुब्बारे सजाकर भव्य श्रृंगार किया गया। इनके अलावा शहर के अन्य शिवालयों में आनंदेश्वर मंदिर, सोमेश्वर मंदिर, कचहरी परिसर स्थित शिव मंदिर आदि पर शिवालयों पर पूजा-अर्चना की गई। कोरोना प्रोटोकॉल के प्रति सजगता नहीं

कोरोना की तीसरी लहर आने में अब ज्यादा समय नहीं लगेगा। केरल में बकरीद पर्व के बाद रोजाना 20 से 25 हजार कोरोना संक्रमित पाए जा रहे हैं। इसके बावजूद इस ओर ध्यान नहीं दिया जा रहा है। सभी शिवमंदिर व्यवस्थापक कोरोना प्रोटोकॉल का पालन करने का दावा कर रहे हैं लेकिन यह बयानों तक ही सीमित है। जनपद के जितने सिद्ध स्थल कहे जाने वाले शिवालय हैं उन पर भक्तों की बगैर मास्क और शारीरिक दूरी का पालन किए बगैर लाइन लगी नजर आ रही है। कई जगह तो लोग एक-दूसरे से सटे हुए नजर आए। यह हालात नीलकंठ, हजारी महादेव, हिडेश्वर महादेव मंदिर , महा कालेश्वर सहित अन्य कई मंदिरों पर नजर आए।

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