चंबल नदी का जल स्तर घटना शुरू, खतरा टला
कोटा वैराज से छोड़े गये पानी के चलते उफना रही चंबल नदी का जल स्तर बुधवार को नीचे उतर आया। जल स्तर खतरे के निशान से काफी दूर है।
संवादसूत्र, उदी : कोटा बैराज से छोड़े गये पानी के चलते उफना रही चंबल नदी का जल स्तर बुधवार को नीचे उतर आया। जल स्तर खतरे के निशान से काफी दूर है। इस लिए खतरे की कोई संभावना नहीं है। उदी पर स्थित केंद्रीय जल आयोग के प्रभारी शहजादे खान ने बताया कि कोटा वैराज से छोड़े गये पानी के चलते पिछले पांच दिनों से चंबल नदी का जल स्तर लगातार बढ़ रहा था। मंगलवार की रात्रि अधिकतम 113.83 मीटर तक पहुंचने के बाद जल स्तर स्थित हो गया जो कि बुधवार को प्रात: से 4 से 5 सेंमी प्रति घंटा की रफ्तार से घटना शुरू हो गया। गुरुवार की शाम को यह जल स्तर 113.07 मीटर पर दर्ज किया गया था। लगातार जल स्तर गिर रहा है। अभी इसके बढ़ने की संभावना नहीं है। उनके अनुसार चंबल नदी के खतरे का निशान वर्ष 1971 में बढ़ा हुआ सर्वाधिक लेवल 128.06 मीटर को ही माना जाता है जबकि चेतावनी बिदु को 121.80 मीटर के रूप में माना गया है लेकिन इस वर्ष तो अधिकतम 113.83 मीटर पर ही जल स्तर पहुंचा है क्योंकि चेतावनी प्वाइंट से 8 मीटर अधिक दूर है। चंबल में फिलहाल दूर-दूर तक बाढ़ की कोई संभावना नहीं है। पिछले वर्ष 2018 में भी चंबल नदी का जल स्तर चेतावनी प्वाइंट से नीचे रहकर 118.11 मीटर तक पहुंच सका था।