नए चेयरमैन के सामने अतिक्रमण की चुनौती

जागरण संवाददाता, कासगंज: नई चेयरमैन के सामने चुनौतियों का पहाड़ होगा और सबसे अधिक चुनौत

By JagranEdited By: Publish:Mon, 11 Dec 2017 06:05 PM (IST) Updated:Mon, 11 Dec 2017 06:05 PM (IST)
नए चेयरमैन के सामने अतिक्रमण की चुनौती
नए चेयरमैन के सामने अतिक्रमण की चुनौती

जागरण संवाददाता, कासगंज: नई चेयरमैन के सामने चुनौतियों का पहाड़ होगा और सबसे अधिक चुनौती अतिक्रमण देगा। शहर का हाईवे कहा जाने वाला मुख्य मार्ग सरकुलर रोड ही पूरी तरह जाम की गिरफ्त में हैं। नगर में घुसते ही नदरई गेट से शुरू होने वाला यह जाम सोरों गेट तक पूरे दिन बना रहता है।

कासगंज का सरकुलर रोड को आगरा बरेली हाइवे के नाम से भी जाना जाता है। उत्तर प्रदेश- उत्तराखंड को जोड़ने वाला यह मार्ग अपने आप में अहम है। लेकिन इस मार्ग पर वाहनों के दवाब को देखा जाए तो भोर से लेकर देर रात तक कतारें लगी रहती हैं।

रोड के किनारे बने व्यापारिक प्रतिष्ठान जाम लगने की एक बड़ी वजह हैं। मोटरमैकेनिक हों या ट्रांसपोर्टर या फिर अन्य व्यापारी अपने इस व्यापार के लिए सड़कों पर अतिक्रमण किए हुए हैं। सड़कों के दोनों ओर सात-सात फुट अतिक्रमण होने से मार्ग सकरा हो जाता है। ऐसे में मार्ग पर पल प्रति पल जाम लगता है। यातायात नियंत्रण के लिए लगी पुलिस की निष्क्रियता भी जाम के लिए जिम्मेदार है इसके अलावा परिवहन निगम एवं डग्गेमार वाहनों के चालकों की मनमानी रहती है और वह सड़क पर ही जहां तहां वाहन खड़ा कर देते है जिससे जाम के हालात बने रहे हैं। नई चेयरमैन के सामने यहां से अतिक्रमण हटवाने और जाम की समस्या से निजात दिलवाना एक बड़ी चुनौती होगी।

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परेशान हैं क्षेत्रीय वा¨शदे

सरकुलर रोड पर जाम के हालात बने रहते हैं देर रात तक वाहनों की गति रेंगती रहती है यहां से पैदल निकलना भी दूभर हो रहा है वाहनों का प्रदूषण भी परेशानी का सबक है। । -राजीव कुमार

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सरकुलर रोड पर ही घर है, दैनिक उपयोगी वस्तुएं लेने बाजार तक अपने वाहन से जाना मुश्किल होता है। पैदल जाकर ही बाजार तक पहुंचा जा सकता है। वाहन जाम में फंस जाते हैं इससे बड़ी परेशानी का सामना करना पड़ता है,देरी होती है सो अलग।

- मनोज कुमार

परिवहन निगम की बसों के चालक तथा डग्गेमार वाहन मार्ग पर ही बसें खड़ी कर देते हैं और काफी देर तक ही यहीं बसें खड़ी रहती हैं इस कारण जाम को बढ़ावा मिलता है।

- प्रवीन

जाम की समस्या कोई नई नहीं है। लंबे समय से लोग इस समस्या से जूझ रहे हैं। कई बार जनप्रतिनिधियों ने इससे निजात दिलाने का वादा किया पर नतीजा सिफर ही रहा। बड़े अधिकारियों की गाड़ियां भी यहां से निकलती है वह भी समस्या को नजरअंदाज कर देते है।

आशीष

रोडवेज बस स्टैंड निर्माणाधीन है। यहां जगह का अभाव है, चालक मजबूरन ही बसों को सड़क पर खड़ा करते हैं फिर भी व्यवस्था बनाई गई है कि गैर डिपो की बसें बस स्टैंड परिसर में खड़ी हो।

लोकेश राजपूत, एआरएम

सर्कूलर रोड की सड़कों पर वाहन खड़े करने वाले ट्रांसपोर्टरों एवं डग्गेमार वाहनों के विरूद्ध अभियान चलाकर कार्रवाई की जाएगी। मार्ग को अतिक्रमण और जाम से मुक्त कराया जाएगा।

-डा. पवित्र मोहन त्रिपाठी, एएसपी

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