घबराइए नहीं, स्वस्थ होने वालों का बढ़ रहा आंकड़ा

जितनी तेजी से बढ़ा उतना ही घट रहा ग्राफ होम आइसोलेट मरीजों को राहत

By JagranEdited By: Publish:Thu, 13 May 2021 06:59 AM (IST) Updated:Thu, 13 May 2021 06:59 AM (IST)
घबराइए नहीं, स्वस्थ होने वालों का बढ़ रहा आंकड़ा
घबराइए नहीं, स्वस्थ होने वालों का बढ़ रहा आंकड़ा

जासं, एटा : कोरोना को लेकर घबराने की जरूरत नहीं है। स्वास्थ्य विभाग के आंकड़ों से निकलकर राहतभरी खबर आई है कि अब स्वस्थ होने वालों का आंकड़ा बढ़ रहा है। हालात यही दर्शा रहे हैं कि कोरोना का ग्राफ जितनी तेजी से बढ़ा, उतनी तेजी से ही घट रहा है।

कोरोना ने जिस तरह से रफ्तार पकड़ी उसी तरह से अब कम हो रही है। इसमें कोई दो राय नहीं कि आंकड़े डराने वाले हैं, लेकिन अच्छी बात यह है कि स्वस्थ होने वाले लोगों की तादात रफ्तार पकड़ चुकी है। एटा जनपद में एल-1 और एल-2 कोविड अस्पतालों से प्रतिदिन औसतन 200 से अधिक मरीज डिस्चार्ज किए जा रहे हैं। जनपद में कुल छह हजार 963 मरीजों को होम आइसोलेट किया गया। वर्तमान में सिर्फ 1644 मरीज ही आइसोलेट हैं। यानि कि शेष लोग ठीक हो गए। हालांकि कई लोगों की मौत भी हुईं, लेकिन अब स्वस्थ होने वालों का आंकड़ा निरंतर बढ़ रहा है। सरकारी आंकड़ों को मानें तो एक्टिव केस 1880 रह गए हैं। पिछले 15 दिन की बात करें तो सात दिन तक कोरोना का आंकड़ा प्रतिदिन 300 मरीज से ऊपर रहा, जो अब घटकर 150 से भी कम हो गया है। कोरोना क‌र्फ्यू और गाइड लाइन के पालन से टूटेगी चेन:

इसमें कोई दो राय नहीं कि कोरोना की चेन तोड़ने में क‌र्फ्यू काफी सहायक सिद्ध हो रहा है। जब से बंदी की गई है तब से पाजिटिव आने वालों के ग्राफ में गिरावट आई है। हाउस टू हाउस अभियान कारगर:

कोरोना की रफ्तार कम करने के लिए स्वास्थ्य विभाग और जिला प्रशासन द्वारा चलाया गया हाउस टू हाउस अभियान कारगर रहा। इस अभियान के अंतर्गत घर-घर चेकिग की जा रही है। 728 टीमें लगी हुईं हैं। शहरी और कस्बाई इलाकों में 153 टीमें लगाई गई हैं, जबकि ग्रामीण क्षेत्रों में 575 टीमें काम कर रही हैं। अब तक 34 हजार 388 लोगों से सर्विलांस टीमों ने संपर्क साधा है। उनसे पूछा गया है कि उन्हें कोरोना के प्रारंभिक लक्षण तो नहीं। कांटेक्ट ट्रेसिग आ रही काम:

कोविड कमांड सेंटर से प्रतिदिन कोरोना के मरीजों के यहां काल की जा रही है। उनसे पूछा जा रहा है कि उनके संपर्क में कौन-कौन व्यक्ति आए हैं। अच्छी बात यह है कि मरीज जो नाम बताते हैं उन लोगों को तत्काल ट्रेस कर लिया जाता है और होम आइसोलेट कर दिया जाता है। इससे वे बाहर नहीं निकल पा रहे। कोरोना की रफ्तार इस वजह से भी घट रही है। कांटेक्ट ट्रेसिग एक बढि़या विकल्प बनकर सामने आया है। --------------

कोरोना को लेकर घबराने की जरूरत नहीं है। स्वस्थ होने वालों का आंकड़ा बढ़ रहा है और लोग ठीक हो रहे हैं। कोरोना से डरें नहीं बल्कि डटकर मुकाबला करें। सभी लोगों को गाइड लाइन का पालन करना चाहिए, ताकि कोरोना की चेन पूरी तरह टूट सके।

- डा. विभा चहल, जिलाधिकारी।

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