सड़क हादसे में युवक की मौत, भाई गंभीर

मईल थाना क्षेत्र के ग्राम बरठी निवासी 20 वर्षीय सूरज पांडेय पुत्र अच्छे लाल अपने चचेरे भाई उज्ज्वल पुत्र धर्मेंद के साथ बाइक से बुआ के घर जा रहे थे।

By JagranEdited By: Publish:Sun, 03 Jan 2021 10:29 PM (IST) Updated:Sun, 03 Jan 2021 10:29 PM (IST)
सड़क हादसे में युवक की मौत, भाई गंभीर
सड़क हादसे में युवक की मौत, भाई गंभीर

देवरिया : मदनपुर थाना क्षेत्र के ग्राम दुबौली के समीप रविवार को हुए सड़क हादसे में एक युवक की जहां मौत हो गई, वहीं चचेरा भाई गंभीर रूप से घायल हो गया। इलाज के लिए प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र (पीएचसी) महेन पहुंचाया गया, जहां से प्राथमिक उपचार के बाद चिकित्सक ने जिला अस्पताल रेफर कर दिया।

मईल थाना क्षेत्र के ग्राम बरठी निवासी 20 वर्षीय सूरज पांडेय पुत्र अच्छे लाल अपने चचेरे भाई उज्ज्वल पुत्र धर्मेंद के साथ बाइक से बुआ के घर मदनपुर के कोल्हुआ मकरसंक्रांति का सामान लेकर जा रहे थे, अभी वह दुबौली के समीप रुद्रपुर मार्ग पर पहुंचे थे कि सामने से आ रही तेज रफ्तार पिकअप ने ठोकर मार दिया। जिससे सूरज पांडेय की मौके पर ही दर्दनाक मौत हो गई। जबकि उज्जवल गंभीर रुप से घायल हो गए। इलाज के लिए अस्पताल पहुंचाया गया। सूरज दो बहनों का इकलौते भाई थे, मौत की सूचना मिलते ही परिवार में मातम छा गया। पिता अपने भाई के साथ दिल्ली रहते हैं। मां किरण देवी का रोते-रोते बुरा हाल हो गया है। थानाध्यक्ष पीडी सिंह ने कहा कि पिकअप को कब्जे में ले लिया गया है।

बुझ गया घर का चिराग

देवरिया: मदनपुर थाना क्षेत्र के दुबौली के समीप दुर्घटना में हुई मौत से घर का चिराग बुझ गया। मौत की खबर मिलते ही पूरे गाव में मातम छा गया। दो बहनों का इकलौता भाई सूरज बहुत ही कुशाग्र बुद्धि का था। वह बीआरडी बरहज में बीकाम का छात्र था। इकलौता होने के कारण पूरे परिवार का दुलारा था। सुबह मां के न चाहने पर भी बुआ के घर खिचड़ी ले जाने की जिद करने लगा। वह कहने लगा बुआ सबसे अधिक मुझे मानती है। मैं खिचड़ी लेकर स्वयं ही जाऊंगा। यह कह कर मां किरण देवी बेहोश हो जा रही थी। कह रही थी मैं जानती तो अपने कलेजे के टुकड़े को नही जाने देती। उनकी करुण क्रंदन को सुनकर लोगों के आंखों से आंसू बहने लगते। पिता दिल्ली में रहकर प्राइवेट नौकरी करते हैं।

दोस्तों का दुलारा था सूरज

सूरज अपने दोस्तों में भी सबसे प्यारा था। वह सेना में भर्ती की तैयारी भी करता था। उसके गाव के मित्र अमन, सुमित, ज्ञानसू आदि ने रुंधे गले से बताया कि वह बहुत ही सरल स्वभाव का था। प्रतिदिन हम लोग दौड़ लगाने के लिए एक ही साथ जाते थे। बगल के गाव निवासी प्रिस यादव, पुरुषार्थ पांडेय, सोनू पांडेय जब उसकी मौत की खबर सुने तो फफक पड़े। कहने लगे एक दिन भी मुलाकात नही होती थी तो घर आ जाता था, साथ मे बैठकर खाना खाते थे अब कैसे मुलाकात होगी।

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