पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी का हटाकर फिर अंकित हुआ मोहन सिंह का नाम
टाउनहाल परिसर में प्रेक्षागृह का निर्माण कार्य 2016-17 में तत्कालीन राज्यसभा सदस्य कनकलता सिंह के प्रयास से सपा शासनकाल में शुरू हुआ था। नया सवेरा योजना के तहत करीब चार करोड़ की लागत से इसका निर्माण हुआ है।
देवरिया: टाउनहाल परिसर स्थित प्रेक्षागृह के नामकरण प्रकरण में नया मोड़ आ गया है। कुछ माह पहले पूर्व सांसद स्व. मोहन सिंह का नाम मिटाने के बाद दो दिन पहले नगर पालिका प्रशासन की तरफ से पूर्व प्रधानमंत्री स्व. अटल बिहारी वाजपेयी का नाम अंकित किया गया लेकिन सोमवार की रात में फिर स्व. मोहन सिंह स्मृति प्रेक्षागृह अंकित कर दिया गया। इसके साथ ही बरामदे में रखी गई स्व. मोहन सिंह की प्रतिमा का आवरण हटा दिया गया। इस घटनाक्रम को लेकर राजनीति गलियारे में पूरे दिन चर्चा रही। उधर नगर पालिका प्रशासन ने प्रकरण में चुप्पी साध ली है।
टाउनहाल परिसर में प्रेक्षागृह का निर्माण कार्य 2016-17 में तत्कालीन राज्यसभा सदस्य कनकलता सिंह के प्रयास से सपा शासनकाल में शुरू हुआ था। नया सवेरा योजना के तहत करीब चार करोड़ की लागत से इसका निर्माण हुआ है। तत्कालीन विधानसभा अध्यक्ष माता प्रसाद पांडेय ने शिलान्यास किया था। प्रकरण तब चर्चा में आया जब, 21 दिसंबर 2019 को नगर पालिका बोर्ड की बैठक में प्रेक्षागृह का नामकरण पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी के नाम पर करने का प्रस्ताव पास हो गया। 20 सितंबर 2020 की रात में स्व. मोहन सिंह सभागार अंकित करते हुए प्रेक्षागृह के बरामदे में उनकी प्रतिमा रख दी गई। सभासदों ने अटल बिहारी वाजपेयी के नाम से प्रस्ताव पारित होने का हवाला देकर विरोध शुरू कर दिया। दो दिन पहले नगर पालिका की ओर से अटल बिहारी वाजपेयी का नाम अंकित करा दिया। कोतवाल राजू सिंह ने कहा कि प्रकरण की तो जानकारी है लेकिन कोई तहरीर नहीं मिली है। इस संबंध में सांसद डा.रमापति राम त्रिपाठी ने तथ्यात्मक जानकारी करने की बात कही तो सदर विधायक डा.सत्यप्रकाश मणि त्रिपाठी ने बाहर होने का हवाला दिया। उन्होंने कहा कि जानकारी करने के बाद कुछ कहना उचित होगा। भाजपा जिलाध्यक्ष अंतर्यामी सिंह ने कहा कि मैंने इसकी सूचना पार्टी के क्षेत्रीय अध्यक्ष को दे दी है। नगर पालिका अध्यक्ष अलका सिंह व अधिशासी अधिकारी रोहित सिंह का पूरे दिन मोबाइल फोन रिसीव नहीं हुआ।