स्लैब रखने में लापरवाही ने ले ली मासूम की जान

नगर पालिका ने नाले की सफाई के बाद हटाया था स्लैब स्लैब वजनी होने से रेस्क्यू में आई दिक्कत लग गया समय

By JagranEdited By: Publish:Mon, 29 Nov 2021 11:52 PM (IST) Updated:Mon, 29 Nov 2021 11:52 PM (IST)
स्लैब रखने में लापरवाही ने ले ली मासूम की जान
स्लैब रखने में लापरवाही ने ले ली मासूम की जान

जागरण संवाददाता, देवरिया: नगर पालिका परिषद के कर्मचारियों की लापरवाही मासूम शानू की जिदगी पर भारी पड़ गई। नाले की सफाई के बाद स्लैब को सही ढंग से नहीं रखा गया था। जिसके चलते गैप होने से बच्ची नाले में चली गई। लोगों का कहना था कि यदि स्लैब के बीच में गैप न होता तो शायद मासूम नाले में नहीं गिरती।

विकास भवन गेट पर हमेशा भीड़भाड़ रहता है। फल बेचने वाले भी दुकान सजाते हैं। रोज की तरह वहां चहल पहल थी। जिस वक्त हादसा हुआ, उस समय काफी लोग मौजूद थे। भटनी के अमवा गांव के रहने वाले संतोष तिवारी की बेटी शानू की जान बचाने की लोगों ने काफी कोशिश की। रेस्क्यू में वजनी स्लैब बाधक बन गया। उसे हटाना आसान नहीं था। लोगों का कहना था कि यदि समय से जेसीबी उपलब्ध हो जाती तो शायद स्लैब हटाकर नाला में आसानी से घुसा जा सकता था। घटनास्थल से नगर पालिका परिषद कार्यालय की दूरी भी अधिक नही है। -

बच्ची को नहीं बचाने का रहेगा मलाल

जिस समय रेस्क्यू चल रहा था। उस समय लोग बच्ची को सकुशल बचाने की दुआ कर रहे थे। लेकिन रेस्क्यू में वक्त काफी लग गया। बच्ची की मौत की जानकारी मिलने पर सभी की आंखें डबडबा गई। लोगों का कहना था कि कोशिश के बाद भी बच्ची की जिदगी नहीं बचा पाने का मलाल रहेगा। जिला अस्पताल के इमरजेंसी में बड़ी संख्या में लोग मौजूद थे। बच्ची की मौत पर चाचा सत्यप्रकाश तिवारी भावुक हो उठे। उन्होंने बताया कि हादसे ने परिवार की खुशियां छीन ली।

एसडीएम सौरभ सिंह का कहना है कि दो स्लैब के बीच गैप की वजह से बच्ची नाले में गिर गई। काफी कोशिश के बाद भी उसकी जान नहीं बचाई जा सकी।

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