रामलीला में आकर्षक झांकी के साथ श्रीराम का हुआ राज्याभिषेक

रावण वध और लंका विजय के पश्चात श्रीराम लक्ष्मण सीता और वानर योद्धाओं के साथ पुष्पक विमान से अयोध्या पहुंचे। गुरु वशिष्ठ के आदेशानुसार श्रीराम को राजगद्दी दी गई। श्रीराम को राज तिलक लगाकर राज्याभिषेक किया गया।

By JagranEdited By: Publish:Mon, 18 Oct 2021 11:49 PM (IST) Updated:Mon, 18 Oct 2021 11:49 PM (IST)
रामलीला में आकर्षक झांकी के साथ श्रीराम का हुआ राज्याभिषेक
रामलीला में आकर्षक झांकी के साथ श्रीराम का हुआ राज्याभिषेक

देवरिया: श्रीरामलीला नाट्य समिति आजाद नगर उत्तरी के तत्वावधान में आदर्श रामलीला मंडल मिथिला धाम के कलाकारों के श्रीराम राज्याभिषेक का मंचन किया। श्रीराम को राजगद्दी मिलते ही तीनों लोक में खुशियां मनाई गई। देवताओं ने पुष्प वर्षा कर मंगल कामना की।

रावण वध और लंका विजय के पश्चात श्रीराम, लक्ष्मण, सीता और वानर योद्धाओं के साथ पुष्पक विमान से अयोध्या पहुंचे। गुरु वशिष्ठ के आदेशानुसार श्रीराम को राजगद्दी दी गई। श्रीराम को राज तिलक लगाकर राज्याभिषेक किया गया। राज्याभिषेक होते ही अयोध्या में खुशी की लहर दौड़ गई। राजा श्रीराम ने दरबारियों, शुभचितकों और याचकों को उपहार प्रदान किया। इस दौरान राम ने सीता को रत्न जड़ित माला प्रदान किया, जिसे सीता ने उपहार स्वरूप हनुमान को दे दिया। हनुमान माला तोड़ने लगे। यह देख दरबारियों को घोर आश्चर्य हुआ और हनुमान से माला छोड़ने का कारण पूछने लगे। हनुमान ने बताया की माला में राम नाम खोज रहा हूं। माला में यदि राम नाम नहीं है तो यह मेरे किस काम का है। इस पर दरबारियों ने हनुमान से पूछा कि क्या तुम्हारे हृदय में रामजी निवास करते हैं तो हनुमान ने हामी भरी और भरे दरबार में अपना सीना फाड़कर हृदय में सीता राम का दर्शन कराया। हनुमान के हृदय में सीताराम को देख लोगों के जय श्रीराम के नारे से वातावरण गूंज उठा। श्रीराम राज्याभिषेक की मनोहारी झांकी देख लोग भाव विभोर हो गए। पंडित श्रीनिवास पांडेय, यदुपति मिश्र ने वाचन किया। इन्द्रजीत उपाध्याय,कैलाश मिश्र ने रामराज्य पर विचार रखा। अनिल बरनवाल, मनोज गुप्त, पुरुषोत्तम मद्धेशिया, प्रदीप गुप्त, रामकेश्वर जायसवाल, हरिशंकर चौरसिया, संतोष वर्मा, मुन्ना वर्मा मौजूद रहे।

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