पाठा में पानी का मुद्दा, नेता नहीं दे पा रहे जवाब
जागरण संवाददाता चित्रकूट जिले त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव का प्रचार चरम पर है। हर ओर शोर
जागरण संवाददाता, चित्रकूट : जिले त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव का प्रचार चरम पर है। हर ओर शोर सुनाई पड़ रहा है। चुनाव के दौरान नेताओं से जनता पेयजल को लेकर तीखे सवाल भी कर रही है। क्योंकि एक बार फिर पाठा से तिरहार तक पेयजल का संकट गहराने लगा है। कूएं सूखे पड़े हैं और हैंडपंप जवाब दे रहे है।
अभी गर्मी का दूसरा माह की चल रहा है लेकिन तीस प्रतिशत हैंडपंप का पानी उतर गया है। हालांकि जिले के करीब 35 गांव में जिला प्रशासन की ओर से टैंकर में पानी पहुंचाया जा रहा है लेकिन अभी कुछ जगह दिक्कतें हैं जिन गांव में टैंकर से आपूर्ति हो रही है वहां पर पानी को देखकर ग्रामीण टूट पड़ते हैं ऐसे गांव में यदि उस समय कोई नेता प्रचार करने पहुंच गया तो उसे ग्रामीणों को खरी खोटी सुनी पड़ती है। ग्रामीण ऐसे-ऐसे सवाल करते है कि नेता जवाब नहीं दे पाते है। हालांकि कुछ मंझे हुए नेता पहले ग्रामीणों से सुनते हैं फिर वादा के घुट्टी पिलाकर आगे बढ़ लेते हैं।
इन दिनों वैसे तो जिले के पांचों ब्लाक में कहीं न कहीं पर पेयजल की समस्या लेकिन सबसे अधिक पाठा में हाहाकार है। करौंहा गोपीपुर, चमरौंहा, सकरौंहा, ऊंचाडीह, कल्याणगढ़ , खिचरी, निही आदि में लोग पानी के लिए रात-रात भर टैंकर का इंतजार करते हैं। यहां के लोगों में जनप्रतिनिधियों को लेकर गुस्सा है। गोपीपुर के रामलाल, कल्लू राम कोल, भोंडा आदि कहते हैं कि चुनाव के समय ही नेता नजर आते हैं। चुनाव जितने के बाद तो प्रधान के भी चक्कर लगाने पड़ते है जबकि वह अपने बीच का आदमी रहते हैं और जीतने के पहले बड़ी-बड़ी बातें करते हैं। इस बार तय किया है कि पानी समस्या का ठोक जो आश्वासन देगा उसे ही वोट देंगे।