एटीएस ने सियालदह राजधानी से चार संदिग्धों को पकड़ा
पीडीडीयू नगर (चंदौली) कानपुर एटीएस ने सोमवार की देर रात पीडीडीयू जंक्शन पर नई दिल्ली-सियालदह राजधानी से चार संदिग्धों को उठाया। संदिग्ध ट्रेन के बी-1 कोच के बर्थ संख्या 25 26 27 व 28 पर सफर कर रहे थे।
जागरण संवाददाता, पीडीडीयू नगर (चंदौली) : कानपुर एटीएस ने सोमवार की देर रात पीडीडीयू जंक्शन पर नई दिल्ली-सियालदह राजधानी से चार संदिग्धों को उठाया। संदिग्ध ट्रेन के बी-1 कोच के बर्थ संख्या 25, 26, 27 व 28 पर सफर कर रहे थे। उनके पास नई दिल्ली से सियालदह तक का ई-टिकट था। एटीएस की टीम कानपुर से ही उनका पीछा कर रही थी। जंक्शन के प्लेटफार्म संख्या दो पर ट्रेन के पहुंचते ही चारों को हिरासत में लेकर सड़क मार्ग से कानपुर के लिए निकल गई। सभी बंगलादेश के निवासी हैं। उनके तस्करी और आतंकियों से तार जुड़ने की बात सामने आ रही है।
एटीएस की टीम चारों को पकड़ने के लिए रात्रि 11 बजे ही सड़क मार्ग से पीडीडीयू जंक्शन पहुंच गई थी। जीआरपी व आरपीएफ कर्मियों से मिलकर राजधानी के टीटीई से संपर्क साधा। ट्रेन रात 1.30 बजे प्लेटफार्म दो पर आकर रुकी। इसके बाद एटीएस की टीम ने बी-1 कोच के बर्थ संख्या 25, 26, 27 व 28 पर सफर कर रहे संदिग्धों को धर-दबोचा। उनकी पहचान बापी राज, पिटू राज, मिथुन मंडल व रोनी पाल के रूप में हुई। उन्हें पहले जीआरपी थाना लाया गया। यहां कुछ समय के लिए पूछताछ करने के बाद एटीएस उन्हें अपने साथ कानपुर ले गई।
आतंकवाद, ड्रग, जाली नोट व हथियारों की तस्करी से जुड़े हो सकते तार
देश के कोने-कोने को जोड़ने वाला दिल्ली-हावड़ा रूट तस्करी का हब बन गया है। राजधानी ट्रेन से सोना, जाली नोट, नशीला पदार्थ, ड्रग व हथियारों की तस्करी के मामले सामने आते रहते हैं। कछुआ के खेप भी पश्चिम बंगाल व बंगलादेश पहुंचाई जाती है। सियालदह राजधानी से हिरासत में लिए गए संदिग्धों के तार आतंकवाद, ड्रग, जाली नोट व हथियारों से जुड़े हो सकते हैं।
दिवाली पर बड़ी घटना की साजिश
सियालदह राजधानी से चार संदिग्धों के हिरासत में लेने के बाद सूत्र बताते हैं कि दिवाली व छठ पूजा पर्व पर बड़ी घटना की साजिश रची गई थी। एटीएस की जांच में कई तथ्य सामने आ सकते हैं। पीएम के वाराणसी आगमन के दिन जंक्शन से चार संदिग्धों के पकड़े जाने से खलबली मची है।
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एटीएस टीम रात्रि 11 बजे ही जंक्शन पर पहुंच गई थी। ट्रेन के आने से कुछ समय पूर्व उन्होंने जीआरपी और आरपीएफ को जानकारी दी और ट्रेन के रुकते ही कोच से चारों को गिरफ्तार किया गया। टीम उसे अपने साथ कानपुर ले गई। हालांकि जीआरपी और आरपीएफ भी अपने स्तर से जांच कर रही है।
सुरेश कुमार सिंह, जीआरपी इंस्पेक्टर,