धीमी गति से सत्यापन के चलते गेहूं खरीद प्रभावित

छतारी क्षेत्र में सरकारी क्रय केंद्रों पर गेहूं बेचने में किसानों के सामने कई अड़चनें आ रही हैं। किसानों का पंजीकरण कराने के बाद भी सत्यापन नहीं किया जा रहा है। वहीं गेहूं बेचने के लिए टोकन भी नहीं दिया जा रहा। ऐसे में जहां गेहूं खरीद प्रभावित है। वहीं दूसरी तरफ किसान भी परेशान हैं।

By JagranEdited By: Publish:Sun, 18 Apr 2021 11:34 PM (IST) Updated:Sun, 18 Apr 2021 11:34 PM (IST)
धीमी गति से सत्यापन के चलते गेहूं खरीद प्रभावित
धीमी गति से सत्यापन के चलते गेहूं खरीद प्रभावित

बुलंदशहर, जेएनएन। छतारी क्षेत्र में सरकारी क्रय केंद्रों पर गेहूं बेचने में किसानों के सामने कई अड़चनें आ रही हैं। किसानों का पंजीकरण कराने के बाद भी सत्यापन नहीं किया जा रहा है। वहीं गेहूं बेचने के लिए टोकन भी नहीं दिया जा रहा। ऐसे में जहां गेहूं खरीद प्रभावित है। वहीं दूसरी तरफ किसान भी परेशान हैं।

क्षेत्र में गेहूं खरीद के लिए चार केंद्र बनाए गए हैं। इसके लिए एजेंसियों को नामित किया गया है। अब तक क्षेत्र के सैकड़ो किसानों ने पंजीकरण कराया है, लेकिन अभी तक कुछ ही किसानों के पंजीकरण का सत्यापन हुआ है। वही कुछ किसानों की खतौनी का सत्यापन तो हो चुका है, काफी का नहीं हुआ है। जिस कारण किसानों को क्रय केंद्रों पर गेहूं डालने में परेशानी हो रही हैं। क्योंकि पंजीकरण का सत्यापन नहीं होने के कारण किसानों को क्रय केंद्र पर गेहूं ले जाने के लिए टोकन नहीं मिल रहे हैं। जिसको लेकर किसान परेशान हैं। ऐसे में जरूरतमंद किसानों को सस्ते दामों पर अपने गेहूं अनाज मंडी में बेचने पड़ रहे हैं। किसानों की माने तो राजस्व विभाग की उदासीनता की वजह से धीमी गति से सत्यापन हो रहा है। कई ऐसे किसान हैं। जिन्होंने 15 से 20 दिन पहले पंजीकरण कराया था, लेकिन अब तक सत्यापन नहीं हुआ है।

बोले किसान..

गेहूं बेचने के लिए 13 दिन पहले पंजीकरण कराया था, लेकिन अभी तक सत्यापन नहीं हो पाया है। इससे गेहूं बेचने में परेशानी हो रही है।

- श्रीओम शर्मा, निवासी गांव जयरामपुर।

पिछले कई दिनों से गेहूं घर पर पड़ा हुआ है, लेकिन सत्यापन के अभाव में गेहूं की बिक्री नहीं हो पा रही है। 15 दिनों पूर्व पंजीकरण कराया था।

- राजेंद्र सिंह, निवासी गांव बैरमनगर।

किसान पंजीकरण कराने के बाद सत्यापन नहीं होने की समस्या बता रहे हैं। जिसके संबंध में राजस्व विभाग के अधिकारियों से वार्ता की गई है।

- मुन्ना लाल गुप्ता, सचिव, सहकारी समिति चौढ़ेरा।

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