शारीरिक-मानसिक कसरत से मिलेगी बीमारी से निजात
बेहतर स्वास्थ्य के लिए अच्छा खान-पान जितना आवश्यक है उतनी ही जरूरी है शारीरिक और मानसिक कसरत। यह तभी संभव है जब हम दिनचर्या की शुरुआत योग-प्राणायाम से करेंगे। युवा योगाचार्य प्रशांत कुमार कहते हैं कि स्वस्थ रहने के लिए कम से कम आधा घंटा योग प्राणायाम बहुत जरूरी है। इससे प्रत्येक व्यक्ति स्वस्थ रहता है।
जेएनएन, बिजनौर। बेहतर स्वास्थ्य के लिए अच्छा खान-पान जितना आवश्यक है, उतनी ही जरूरी है शारीरिक और मानसिक कसरत। यह तभी संभव है जब हम दिनचर्या की शुरुआत योग-प्राणायाम से करेंगे। युवा योगाचार्य प्रशांत कुमार कहते हैं कि स्वस्थ रहने के लिए कम से कम आधा घंटा योग, प्राणायाम बहुत जरूरी है। इससे प्रत्येक व्यक्ति स्वस्थ रहता है।
जयनगर निवासी किसान ओमपाल सिंह के युवा पुत्र प्रशांत कुमार पिछले छह वर्षों से योग सीख रहे हैं। योग से अपने जीवन में आए बदलाव और स्वास्थ्य लाभ को देखते हुए प्रशांत ने दो वर्षों से योग-प्राणायाम का प्रशिक्षण देना भी शुरू किया है। विश्व योग दिवस पर देहरादून में प्रधानमंत्री के कार्यक्रम में शामिल हो चुके प्रशांत कुमार कहते हैं कि दिन की शुरुआत 10 मिनट लोम-अनुलोम प्राणायाम से की जानी चाहिए। शौच जाने से पहले ताड़ासन किया जाए। शौच से निवृत्त होकर योगासन की शुरुआत करें। भोजन लेने के बाद 10 मिनट का वज्रासन करना चाहिए।
प्रशांत कहते हैं कि योग-प्राणायाम एक औषधि के समापन है। यह रोग प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाते हैं। लेकिन गंभीर बीमारियों से ग्रस्त व्यक्ति को उचित मार्गदर्शन में ही योग-प्राणायाम करना चाहिए। योग-प्राणायाम में गंभीर रोगों से निजात दिलाने की क्षमता होती है, समाज में इसके कई उदाहरण हैं। गायत्री शक्तिपीठ पर बच्चों को योग सिखा रहे प्रशांत कहते हैं कि इस समय कोरोना महामारी से बचाव में भी योग-प्राणायाम के सार्थक परिणाम सामने आ रहे हैं। इस के साथ ही उन्होंने लोगों से आक्सीजन की कमी को दूर करने के लिए प्रतिदिन योग करने की अपील की है।