गांवों में बाहर से आने वालों को चिह्नित करने के निर्देश
उत्तर प्रदेश सहित अन्य राज्यों में लगातार बढ़ रहे कोरोना संक्रमण के मामले और मई माह में पूर्ण लाकडाउन लगने की आशंका के चलते ग्रामीण क्षेत्रों में लोगों ने लौटना शुरू कर दिया। धामपुर सहित तहसील के अन्य कस्बों के निवासी बड़ी संख्या में महाराष्ट्र दिल्ली नोएडा व अन्य बड़े शहरों में नौकरी करते हैं। इन लोगों के वापस लौटने के मद्देनजर ब्लाक और स्वास्थ्य विभाग भी सक्रिय हो गया।
जेएनएन, बिजनौर। उत्तर प्रदेश सहित अन्य राज्यों में लगातार बढ़ रहे कोरोना संक्रमण के मामले और मई माह में पूर्ण लाकडाउन लगने की आशंका के चलते ग्रामीण क्षेत्रों में लोगों ने लौटना शुरू कर दिया। धामपुर सहित तहसील के अन्य कस्बों के निवासी बड़ी संख्या में महाराष्ट्र, दिल्ली, नोएडा व अन्य बड़े शहरों में नौकरी करते हैं। इन लोगों के वापस लौटने के मद्देनजर ब्लाक और स्वास्थ्य विभाग भी सक्रिय हो गया। एडीओ पंचायत ने निगरानी समिति को ऐसे लोगों को चिन्हित कर और कोरोना संक्रमितों की पहचान करने के निर्देश दिए गए हैं।
ब्लाक धामपुर में 97 ग्राम पंचायतें और 152 गांव हैं, जिसमें रहने वाले बड़ी संख्या में महाराष्ट्र के विभिन्न शहरों सहित दिल्ली-एनसीआर में नौकरी करते हैं। महाराष्ट्र और दिल्ली में संक्रमण की हालत गंभीर होने पर प्रवासी कामगारों और अन्य लोगों का अपने गांवों की ओर लौटना शुरू हो गया है। ऐसे में ब्लाक प्रशासन भी सक्रिय हो गया है। ब्लाक के एडीओ पंचायत अनिल कुमार सिंह ने स्वास्थ्य विभाग के साथ बैठक कर ग्रामीण क्षेत्रों में पैनी नजर बनाए रखने पर चर्चा की है।
एडीओ पंचायत अनिल कुमार सिंह ने बताया कि रविवार को स्वास्थ्य विभाग के साथ हुई बैठक में निगरानी समितियों को अपने गांवों में सक्रिय रहने के निर्देश दिए गए हैं। समिति के सदस्यों से कहा गया है कि वे अन्य शहरों से गांव में लौटने वालों पर पैनी नजर रखें। वहीं घर-घर जाकर कोरोना संक्रमितों की पहचान करें और समय रहते ब्लाक व स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों को सूचित करें। एडीओ ने बताया कि इसके अलावा ग्रामीणों को भी सतर्क रहते हुए बुखार, खांसी आदि लक्षण दिखाई देने पर गांव की आशा व निगरानी समिति के सदस्यों से तुरंत संपर्क करने की अपील की गई है।