लगते ही बुझ गई स्ट्रीट लाइट, कमीशन के भेंट चढ़ी गुणवत्ता
चित्र - 3 --आक्रोश - सुरियावां नगर में करीब 800 स्ट्रीट लाइटो में से कई खराब - रात के अंधेरे में आवागमन कर रहे राहगीर हो रही असुविधा
जागरण संवाददाता, सुरियावां (भदोही) : नगर पंचायत में स्ट्रीट लाइट, मिनी हाईमास्ट और हाईमास्ट लगाने में ठेकेदारों की चांदी कट रही है। गुणवत्ता से इस कदर धांधली की जा रही है कि लगते ही स्ट्रीट लाइट बुझ जा रही है। गुणवत्ता कमीशन की भेंट चढ़ रही है। नगर में लगी करीब 800 स्ट्रीट लाइट में कई बुझ चुकी हैं तो कई आंख मिचौनी कर रही हैं। इसको लेकर नगर के लोगों में आक्रोश व्याप्त है। उनका कहना है कि शासन की ओर से मिल रहे बजट में बंदरबांट किया रहा है। उच्चाधिकारी भी जानते हुए अंजान बने हुए हैं।
पथ प्रकाश की व्यवस्था के लिए सड़क किनारे स्ट्रीट लाइट लगाई गई है। प्रमुख चौराहों व सार्वजनिक स्थलों पर मिनी हाईमास्ट लाइट लगाने में लाखों रुपये बजट खर्च किया गया है। जतन कुमार गुप्ता ने आरोप लगाया कि नगर पंचायत प्रशासन और ठेकेदारों के कमीशनबाजी के खेल में नगर के कई वार्डों में अंधेरा छाया है। अंधेरे में आवागमन करने पर छिनैती आदि घटनाओं को अंजाम देने के बाद अराजक तत्व आसानी से फरार हो जा रहे हैं। घटिया किस्म की लाइट उपयोग किए जाने से लगने के कुछ दिन बाद ही बुझ जा रही है। नगर के बैंक आफ बड़ौदा, निमकौड़िया तालाब और नगर के चौराहे पर लगा मिनी हाईमास्ट लाइट पखवारा भर पहले बुझ गई। नगर पंचायत में शिकायत के बाद भी समस्याओं का समाधान नहीं किया गया। अधिशासी अधिकारी सोनल जैन का कहना है कि स्ट्रीट लाइट को समय-समय पर ठीक कराया जाता है। इसके बाद भी यदि कोई शिकायत मिलती है तो उसे ठीक कराया जाएगा।
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जर्जर पोल से खतरा
नगर में दशकों पुराने लगे पोल न बदलने से नगरवासियों व आवागमन करने वाले राहगीरों के जान का खतरा बना हुआ है। नगर पंचायत प्रशासन व बिजली विभाग की अनदेखी के चलते लटके जर्जर पोल बिजली प्रवाह के दौरान धराशायी हो गए तो बड़ा हादसा होना तय है।