सामुदायिक शौचालयों की हकीकत देखने निकलेंगे सीएम

जागरण संवाददाता, ज्ञानपुर (भदोही) : स्वच्छ भारत मिशन के तहत गांवों को पूरी तरह से खुले में शौचमुक्त

By JagranEdited By: Publish:Tue, 03 Mar 2020 08:53 PM (IST) Updated:Tue, 03 Mar 2020 08:53 PM (IST)
सामुदायिक शौचालयों की हकीकत देखने निकलेंगे सीएम
सामुदायिक शौचालयों की हकीकत देखने निकलेंगे सीएम

जागरण संवाददाता, ज्ञानपुर (भदोही) : स्वच्छ भारत मिशन के तहत गांवों को पूरी तरह से खुले में शौचमुक्त करने को लेकर केंद्र व प्रदेश सरकार पूरी तरह गंभीर है। अनुदान देकर प्रत्येक परिवार को स्वच्छ शौचालय से आच्छादित किया जा रहा है। जो परिवार सुविधा संपन्न हैं और उनके यहां शौचालय नहीं बने हैं उन्हें प्रेरित करके शौचालय का निर्माण कराया जा रहा है। इसके बाद भी यदि लोग छूट गए हैं तो अब प्रत्येक गांव में दो-दो सामुदायिक शौचालय का निर्माण कराने की ओर ध्यान दिया है।

सरकार की गंभीरता का अंदाजा इस बात से लगाया जा सकता है कि सामुदायिक शौचालयों के निर्माण कार्य को पूरा कराने के लिए 15 मार्च तक का समय तय किया गया है। इसके साथ ही गत दिवस लखनऊ में संपन्न समीक्षा बैठक में खुद मुख्यमंत्री ने कह दिया है कि 15 मार्च के बाद सामुदायिक शौचालयों के निर्माण की हकीकत देखने के लिए भारत व राज्य सरकार की टीमें निकलेंगी तो वह भी किसी भी जिले में पहुंच सकते हैं। इसके बाद भी जिले में शौचालयों के निर्माण की स्थिति पर नजर डाली जाए तो 561 ग्राम पंचायतों में से अभी तक 140 गांवों में ही सामुदायिक शौचालयों का निर्माण शुरू हो सका है। निर्माण की गति रफ्तार नहीं पकड़ पा रही है। क्या तय है प्रक्रिया व योजना

-प्रत्येक गांव में ऐसे स्थल को चिह्नित किया जाए जहां व्यक्तिगत शौचालय के लिए जगह का अभाव हो।

-सामुदायिक शौचालय का निर्माण के लिए चयनित स्थल आबादी से ज्यादा दूर न हो। आवागमन की सुगमता हो।

-भू-राजस्व विभाग से समन्वय स्थापित कर चयनित स्थल पर शौचालय निर्माण की सहमति प्राप्त की जाय।

-पानी की उपलब्धता भी सुगमता से सुनिश्चित किया जाना अनिवार्य होगा, जिससे प्रयोग हो सके। किस मद से होना है कार्य

जिले के सभी 561 ग्राम पंचायतों में सामुदायिक शौचालय प्रथम व द्वितीय का निर्माण कराया जाएगा। प्रथम शौचालय का निर्माण भारत सरकार से प्रदत्त पीआइजीएफ की धनराशि के किया जाना है तो द्वितीय सामुदायिक शौचालय का निर्माण चतुर्थ राज्य वित्त व 14वां वित्त आयोग की धनराशि से कराया जाना है। चतुर्थ राज्य वित्त एवं 14वें वित्त से कराए जाने वाले शौचालयों का निर्माण शुरू किया गया है, जबकि परफार्मेस इंस्टेटिव ग्रांट फ्रंट (पीआइजीएफ) से निíमत होने वाले शौचालयों के लिए भारत सरकार से बजट भेजा जाना है। अभी तक बजट न आने से निर्माण शुरू नहीं हो सका है। समीक्षा बैठक में मुख्यमंत्री द्वारा किसी भी दशा में 15 मार्च तक समस्त शौचालयों का निर्माण पूर्ण करने को कहा गया है। इसके बाद राज्य सरकार द्वारा प्रत्येक जनपदों में अलग-अलग टीमें भेजी जाएंगी। शौचालयों का सत्यापन किया जाएगा। किसी भी ग्राम पंचायत में शौचालय पूर्ण नहीं पाए गए या निíमत नहीं मिले तो संबंधित के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी। बताया कि ग्राम पंचायतों को शौचालयों का निर्माण प्राथमिकता पर पूर्ण कराने की निर्देश दिया गया है।

-डा. सरोज पांडेय, जिला समन्वयक, स्वच्छता मिशन।

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