विकास कायरें के नाम पर गोलमाल, 2.11 लाख रुपये की होगी वसूली

परियोजना निदेशक ने बताया कि जांच के दौरान पाया गया कि 2018-19 में 20 स्ट्रीट लाइट के नाम पर 38780 रुपये का अधिक भुगतान किया गया। मामले में इस धन की वसूली का निर्देश दिया गया। इसी प्रकार रामकेवल मौर्य के घर से रामधनी के घर तक इंटरलाकिग के नाम पर 99 हजार तो मेवालाल के घर से रामउजागिर के घर तक इंटरलाकिग के नाम पर 1.22 लाख रुपये खर्च किया गया है। जांच के दौरान इंटरलाकिग ईट की गुणवत्ता बेहद खराब मिली।

By JagranEdited By: Publish:Mon, 26 Jul 2021 11:39 PM (IST) Updated:Mon, 26 Jul 2021 11:39 PM (IST)
विकास कायरें के नाम पर गोलमाल, 2.11 लाख रुपये की होगी वसूली
विकास कायरें के नाम पर गोलमाल, 2.11 लाख रुपये की होगी वसूली

बस्ती: सल्टौआ गोपालपुर के ग्राम पंचायत घुरहूपुर में 2018-19 में स्ट्रीट लाइट, नाली व इंटरलाकिग के नाम पर गोलमाल हुआ। शिकायत की जांच के बाद पूर्व प्रधान, तत्कालीन सचिव और जेई के विरुद्ध 2,11,247 रुपये की वसूली के निर्देश दिए गए हैं।

विधायक संजय प्रताप जायसवाल ने जिले के प्रभारी मंत्री से सल्टौआ गोपालपुर विकास खंड के घुरहूपुर ग्राम पंचायत में पूर्व प्रधान के कार्यकाल में अनियमिता की शिकायत की थी। मामले की गंभीरता को देखते हुए डीएम के आदेश पर सीडीओ ने तीन जिला स्तरीय अधिकारियों की टीम गठित कर प्रकरण की जांच का निर्देश दिया था। टीम में परियोजना निदेशक डीआरडीए कमलेश कुमार सोनी, डीडीओ अजीत कुमार श्रीवास्तव, उपायुक्त श्रम एवं रोजगार शामिल थे। तीनो अधिकारियों ने जुलाई माह के प्रथम सप्ताह में आरोपों की बिदुवार जांच की। परियोजना निदेशक ने बताया कि जांच के दौरान पाया गया कि 2018-19 में 20 स्ट्रीट लाइट के नाम पर 38780 रुपये का अधिक भुगतान किया गया। मामले में इस धन की वसूली का निर्देश दिया गया। इसी प्रकार रामकेवल मौर्य के घर से रामधनी के घर तक इंटरलाकिग के नाम पर 99 हजार तो मेवालाल के घर से रामउजागिर के घर तक इंटरलाकिग के नाम पर 1.22 लाख रुपये खर्च किया गया है। जांच के दौरान इंटरलाकिग ईट की गुणवत्ता बेहद खराब मिली। ऐसे में 30 फीसद धन 97700 रुपये की वसूली निर्देश दिया गया। इसी प्रकार 50 मीटर नाली निर्माण कार्य की जांच की गई तो वह वर्तमान प्रधान नन्हें सिंह के मकान की चहारदीवारी के अंदर मिली। नन्हें सिंह ने बताया कि उसका निर्माण उन्होंने अपने धन से कराया है। ऐसे में फर्जी नाली निर्माण दिखाकर 74767 रुपये का भुगतान कराने के आरोप में इस धनराशि के वसूली की संस्तुति भी की गई है। सचिव के खिलाफ विभागीय कार्रवाई की भी संस्तुति की गई है।

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