पुलिस ने पकड़ा ठगी का मैरिज ब्यूरो, विधवा और तलाकशुदा को बनाता था शिकार, जानिए पूरा मामला

शादी का झांसा देकर ठगी करने वाले मैरिज ब्यूरो सेंटर का शुक्रवार को पुलिस नेे भंडाफोड़ हुआ। बारादरी पुलिस और क्राइम ब्रांच की संयुक्त टीम ने छापेमारी कर कॉल सेंटर के मुख्य आरोपित छत्तीसगढ़ निवासी मंजीत कुमार बंजारे और 12 युवतियों को हिरासत में लिया।

By Ravi MishraEdited By: Publish:Sat, 26 Sep 2020 03:29 PM (IST) Updated:Sat, 26 Sep 2020 03:29 PM (IST)
पुलिस ने पकड़ा ठगी का मैरिज ब्यूरो, विधवा और तलाकशुदा को बनाता था शिकार, जानिए पूरा मामला
पुलिस ने पकड़ा ठगी का मैरिज ब्यूरो वाली खबर में प्रतीकात्मक फोटो

बरेली, जेएनएन। शादी का झांसा देकर ठगी करने वाले मैरिज ब्यूरो सेंटर का शुक्रवार को पुलिस नेे भंडाफोड़ हुआ। बारादरी पुलिस और क्राइम ब्रांच की संयुक्त टीम ने छापेमारी कर कॉल सेंटर के मुख्य आरोपित छत्तीसगढ़ के बटौत गांव के जानकी चापा जिले के रहने वाले मंजीत कुमार बंजारे और 12 युवतियों को हिरासत में लिया। कॉल सेंटर पर मौजूद 43 मोबाइल चार कंप्यूटर समेत सभी सामान को पुलिस टीम ने जब्त कर लिया। आरोपित वर्ष 2017 से शहर के डीडीपुरम कॉलोनी में कॉल सेंटर संचालित कर रहा है।

ऑनलाइन मैच प्वाइंट डाट काॅम नाम की वेबसाइट के माध्यम से 18 से 50 आयु वर्ग के युवक-युवतियों को शादी कराने का काम किया जाता था। शादी के लिए जब कोई व्यक्ति इस वेबसाइट पर अपना पंजीकरण कराता था तो उसे शादी के लिए लड़की या लड़के से मिलाया जाता था। इसके एवज में आवेदन करने वाले युवक-युवतियों से रजिस्ट्रेशन कराने से लेकर शादी तय कराने तक अलग अलग खर्च के नाम पर रुपये लिए जाते थे। यहीं नहीं पैसे लेने के बाद जिस नंबर से आवेदक से बातचीत की जाती थी, वह मोबाइल नंबर संचालक द्वारा स्विच ऑफ कर दिया जाता था।

इसी बात की शिकायत एक माह पहले बदायूं के नेकराम ने तत्कालीन एसएसपी की थी। इसके बाद से क्राइम ब्रांच, सर्विलांस सेल और बारादरी पुलिस इसकी तलाश कर रही थी। सर्विलांस से मिले इनपुट के आधार पर शुक्रवार को पुलिस टीम ने यह कार्रवाई की। आरोपित का छत्तीसगढ़ से इतिहास खंगालने के लिए पुलिस ने छत्तीसगढ़ पुलिस से संपर्क किया गया है। दिल्ली में है हेड ऑफिस, ले रखी थी फ्रेंचाइजी ऑनलाइन मैच प्वाइंट डॉट काम नाम की जिस वेबसाइट के माध्यम से युवक-युवती के रिश्ते कराने का काम करता था। इसका हेड ऑफिस दिल्ली में है।

राइजिंग रूल्स नाम की कंपनी इस वेबसाइट की मुख्य कर्ता-धर्ता है। आरोपित मंजीत के मुताबिक, वर्ष 2017 में उसने इसकी फ्रेंचाइजी ली। तब से इसे संचालित कर रहा है। इससे पहले आरोपित दो वर्ष दिल्ली हेड ऑफिस में काम भी कर चुका है।

इस तरह वसूलते थे रुपये

जब शादी के लिए कोई इस वेबसाइट पर आवेदन करता था तो सबसे पहले बतौर मेंबरशिप आवेदक से 35 सौ रुपये लिए जाते थे। उसके बाद पांच हजार रुपये लड़की या लड़के से मिलवाने के, पांच हजार रुपये मीटिंग फिक्स कराने के, फिर पांच हजार रुपये मीटिंग के। इस तरह आवेदक से रुपये की वसूली की जाती थी।

तलाकशुदा और विधवा होते थे टारगेट

प्रयास होता था कि ऐसे लोगों से संपर्क किया जाए, जो विधवा या तलकशुदा हों। उनके नंबर और बायोडाटा की फाइल भी पुलिस को मिली है। इसके अलावा होटल, मंदिर या लॉन में जोड़ों को मिलाने का काम भी यह लोग करते थे। इससे मंजीत की हर माह दो से ढाई लाख रुपये की इनकम हो जाती थी।

रेंट एग्रीमेंट से आधार कार्ड में दर्ज कराया लोकल का पता

आरोपित ने रेंट एग्रीमेंट के आधार पर अपने आधार कार्ड में लोकल का पता तक दर्ज करा लिया। ऐसे इसलिए किया गया जिससे आवेदकों को पता चले कि संचालक जनपद का ही है, जिससे लोग आसानी से कॉल सेंटर पर भरोसा कर लेते थे।

वेतन के साथ मिलता था कमीशन

काल सेंटर में काम करने वाली युवतियों को चार से पांच हजार रुपये प्रतिमाह वेतन के रूप में दिए जाते थे। एक-एक रिश्ते पर कमीशन अलग से तय था। लिहाजा, दस हजार रुपये तक प्रतिमाह काम करने वाली युवतियों की कमाई हो जाती थी।

सवालों के घेरे में पुलिस की चुस्ती

युवक नेत्रपाल अगर शिकायत न करता तो यह मैरिज ब्यूरो सेंटर अभी भी फल-फूल रहा होता। हाल में ही बारादरी क्षेत्र में ही फर्जीवाड़ा करने वाले कई कॉल सेंटर पकड़े गए थे। इसके बाद पुलिस ने कई दिन तक अभियान चलाया। लेकिन यह सेंटर पकड़ में कैसे नहीं आया। यह पुलिस की कार्यशैली पर सवाल खड़े करता है।

युवक की शिकायत पर पुलिस इस मैरिज ब्यूरो चलाने वाले की तलाश में थी। सर्विलांस टीम को मिले इनपुट के आधार पर कार्रवाई की गई। कुल 13 लोगों को मौके से पकड़ा गया है। इनमें 12 युवतियां हैं, जिनकी भूमिका की जांच की जा रही है। अब तक मंजीत को ही आरोपित बनाया गया है। -रोहित सिंह सजवान, एसएसपी

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