बरेली के डीडीपुरम के फव्वारों को पाटकर बना दी गई फुलवारी, बीडीए के अधिकारी नहीं ले रहे सुध

दीनदयाल पुरम में करीब बीस साल पहले बनाए गए दोनों फव्वारा बंद हो गए हैं। एक फव्वारे को तो पाट दिया गया है। वहां कब्जा कर लिया गया है। बावजूद इसके बीडीए के अधिकारी सुध नहीं ले रहे हैं। वहीं अवैध कब्जा करने वाले खुले आम कब्जा कर रहे हैं।

By Sant ShuklaEdited By: Publish:Thu, 28 Jan 2021 02:23 PM (IST) Updated:Thu, 28 Jan 2021 02:23 PM (IST)
बरेली के डीडीपुरम के फव्वारों को पाटकर बना दी गई फुलवारी, बीडीए के अधिकारी नहीं ले रहे सुध
बीडीए के अधिकारी सुध नहीं ले रहे हैं। वहीं अवैध कब्जा करने वाले खुले आम कब्जा कर रहे हैं।

 बरेली, जेएनएन।  दीनदयाल पुरम में करीब बीस साल पहले बनाए गए दोनों फव्वारा बंद हो गए हैं। एक फव्वारे को तो पाट दिया गया है। वहां कब्जा कर लिया गया है। बावजूद इसके बीडीए के अधिकारी सुध नहीं ले रहे हैं। वहीं अवैध कब्जा करने वाले खुले आम कब्जा कर रहे हैं। 

वर्ष 1997 में बरेली विकास प्राधिकरण ने डीडीपुरम आवासीय योजना विकसित की थी। इसी योजना में बीडीए के उपाध्यक्ष का भी आवास है। योजना विकसित करने के दौरान वहां बीडीए उपाध्यक्ष के आवास के पास और चौराहे से कुछ दूरी पर ही फव्वारे बनाए गए थे। इससे जहां चौराहा खूबसूरत लगता था वहीं शाम होते ही फव्वारे भी लाइट की रोशनी में शुरु हो जाते थे। हालांकि धीरे धीरे ये बंद हो गए और मौजूदा समय में दोनों ही फव्वारे बंद हो गए हैं। सेलेक्शन प्वाइंट चौराहे से गणगौर स्वीट्स के पास बना फव्वारा तो पाट ही दिया गया है। वहां फव्वारे के स्थान पर फुलवारी लगा दी गई है। इसके साथ ही उस स्थान पर कब्जा कर लिया गया है। वहां सड़क किनारे भी अवैध तरीके से कई ठेले लग रहे हैं। पास ही बीडीए कार्यालय होने और अधिकारियों के बार-बार वहां से निकलने के बाद भी किसी का ध्यान इस ओर नहीं जा रहा है। हालांकि जब से बीडीए वीसी जोगिंदर सिंह बने हैं। तब से बीडीए अवैध कब्जों के खिलाफ कार्रवाई कर रहा है। हालांकि देखने वाली बात ये होगी कि बीडीए अब कार्रवाई यहां पर कब करता है और फव्वारों को कब शुरू किया जाता है। 

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