बरेली में आत्मनिर्भरता की राह पर ग्राम पंचायतें, जगाएंगी स्वच्छता की अलख
गांवों में सफाई कर्मियों के न जाने और गंदगी व्याप्त होने को लेकर अक्सर शिकायतें और विरोध प्रदर्शन होते रहते हैं। ऐसा इसलिए होता है क्योंकि ग्राम पंचायतों से शासन से मिलने वाली धनराशि पर ही निर्भर रहना पड़ता है लेकिन सीडीओ ने जिले की 100 ग्राम पंचायतों को आत्मनिर्भर बनाने की योजना बनाई है। इसके लिए प्रथम चरण में 100 ग्राम पंचायतों में सर्वेक्षण कराया जा रहा है कि उनके राजस्व में किस तरह से बढ़ोतरी की जा सके।
जागरण संवाददाता, बरेली: गांवों में सफाई कर्मियों के न जाने और गंदगी व्याप्त होने को लेकर अक्सर शिकायतें और विरोध प्रदर्शन होते रहते हैं। ऐसा इसलिए होता है क्योंकि ग्राम पंचायतों से शासन से मिलने वाली धनराशि पर ही निर्भर रहना पड़ता है, लेकिन सीडीओ ने जिले की 100 ग्राम पंचायतों को आत्मनिर्भर बनाने की योजना बनाई है। इसके लिए प्रथम चरण में 100 ग्राम पंचायतों में सर्वेक्षण कराया जा रहा है कि उनके राजस्व में किस तरह से बढ़ोतरी की जा सके। इसके लिए पंचायतों में आय के स्त्रोत सृजित किए जा रहे हैं, जिससे वे आत्मनिर्भर होकर स्वच्छता और अन्य जरूरी कार्य स्वयं ही करा सकें।
जिले में 1193 ग्राम पंचायतें हैं। जिले में अधिकांश ग्राम पंचायतें शासन से मिलने वाली धनराशि से ही साफ-सफाई एवं विकास कार्य कराती हैं। उनके पास अपनी कोई आय नहीं होती है। ऐसे में कई कार्य नहीं हो पाते हैं। अब इन ग्राम पंचायतों की आय बढ़ाकर उनको आत्मनिर्भर बनाने के लिए मुख्य विकास अधिकारी चंद्रमोहन गर्ग ने गांवों में व्यावसायिक प्रयोग में आने वाले भवनों, दुकानों, हाट बाजार, तालाबों आदि पर कर लगाने की योजना बनाई है। पहले चरण में 100 ग्राम पंचायतों का चयन करके उनका सर्वे कराया जा रहा है, जिससे कि पता हो सके कि गांवों से कितनी आय की जा सकती है।
बनवाए जा रहे बारातघर और हाट बाजार
सीडीओ चंद्रमोहन गर्ग ने बताया कि अधिक जनसंख्या और कर के लिहाज से अनुरूप गांव में बारातघर बनवाए जा रहे हैं, जिससे कि ग्राम पंचायतें कमाई कर सकें। यही नहीं, ग्राम पंचायतों में हाट बाजार भी बनवाए जा रहे हैं, जिनमें मिलने वाली दुकानों की नीलामी करके आय बढ़ाई जा सकती है।
वर्जन..
सर्वे पूरा हो गया है। इसके बाद पंचायती राज अधिनियम के अंतर्गत इन लोगों से पंचायती कर की वसूली की जाएगी। इससे जो धनराशि प्राप्त होगी, उनको साफ सफाई एवं अपशिष्ट प्रबंधन का कार्य किया जाएगा।
- धर्मेंद्र कुमार, जिला पंचायत राज अधिकारी
---
ग्राम पंचायतों में आय के स्त्रोत सृजित करके उनके राजस्व बढ़ोतरी के प्रयास किए जा रहे हैं। इससे ग्राम पंचायतें आत्मनिर्भर हो सकेंगी। अर्जित धनराशि से साफ सफाई एवं अन्य जरूरी कार्य किए जा सकेंगे।
चंद्रमोहन गर्ग, मुख्य विकास अधिकारी