Budget 2021 Expectations : वित्तमंत्री जी सुनिए, यहां वेंटीलेटर पर चल रहा एमएसएमई, बजट से है ‘ऑक्सीजन’ की उम्मीद

Budget 2021 Expectations एक फरवरी को वर्ष 2021-22 का आम बजट पेश होगा। ऐसे में बरेली का उद्योग जगत वित्त मंत्री की ओर आशा भरी निगाहों से देख रहा है। सबसे जयादा उम्मीदें एमएसएमई (सुक्ष्म लघु एवं मध्यम) सेक्टर से जुड़े उद्यमियों को है।

By Ravi MishraEdited By: Publish:Thu, 28 Jan 2021 07:59 AM (IST) Updated:Thu, 28 Jan 2021 05:52 PM (IST)
Budget 2021 Expectations : वित्तमंत्री जी सुनिए, यहां वेंटीलेटर पर चल रहा एमएसएमई, बजट से है ‘ऑक्सीजन’ की उम्मीद
Budget 2021: वित्तमंत्री जी सुनिए, यहां वेंटीलेटर पर चल रहा एमएसएमई, बजट से है ‘ऑक्सीजन’ की उम्मीद

बरेली, जेएनएन। Budget 2021 Expectations : एक फरवरी को वर्ष 2021-22 का आम बजट पेश होगा। ऐसे में बरेली का उद्योग जगत वित्त मंत्री की ओर आशा भरी निगाहों से देख रहा है। सबसे जयादा उम्मीदें एमएसएमई (सुक्ष्म, लघु एवं मध्यम) सेक्टर से जुड़े उद्यमियों को है। कोरोना संक्रमण के दौर में टूट चुके उद्यमी अब तक पनप नहीं पाए हैं। ऐसे में वह जीएसटी में छूट के साथ बड़े राहत पैकेज की आस लगाए हैं।

सीमेंट, सरिया, प्लास्टिक के कम हों दाम: उद्यमी बताते हैं कि बड़ी कंपनियों ने दाम बढ़ाकर कोरोना काल में हुआ नुकसान कवर किया, जबकि छोटे कारोबारी रह गए। सीमेंट, सरिया, प्लास्टिक के दाम 30 फीसद तक बढ़े। रियल एस्टेट कारोबार प्रभावित हुआ। बजट में इनके दामों के कम होने को लेकर भी उम्मीद की जा रही है।

जीएसटी में छूट और राहत पैकेज से आस

लघु, सूक्ष्म ओर मध्यम वर्ग का उद्यमी कोविड काल में टूट गया। आगामी बजट में एमएसएमई को जीएसटी स्लैब में छूट मिलने की उम्मीद है। आइआइए ने वित्त मंत्री को इसके लिए सुझाव भी भेजा है। - दिनेश गोयल, उद्यमी

पिछले बजट में कॉरपोरेट टैक्स कम हुआ, लेकिन एमएसएमई यूनिट के स्लैब में कोई बदलाव नहीं हुआ था। इस बजट में एमएसएमई को भी कॉरपोरेट और लिमिटेड कंपनियों की तरह ही छूट मिलनी चाहिए। - विमल रेवाड़ी, डिवीजनल चेयरमैन, आइआइए

एमएसएमई सेक्टर ही सबसे ज्यादा रोजगार दे रहा है। कोविड के बाद सबसे ज्यादा परेशान इसी सेक्टर के उद्यमी हैं। बजट में ब्याज में कमी की जाए, जीएसटी में छूट व एमएसएमई को अलग से पैकेज मिलना चाहिए।

- हरमीत ओबराय, उद्यमी

बजट राष्ट्र हित में होना चाहिए। सरकार ने जो बजट बनाया होगा वह निश्चित ही विकास परक होगा। बजट ऐसा हो, जिससे इनकम भी बढ़े और खर्चे में सहूलियत मिले।- घनश्याम खंडेलवाल, एमडी, बीएल एग्रो

कोविड काल में मिली छूट नाकाफी रही। और छूट दी जानी चाहिए, जिससे उद्यमी अपनी यूनिट को सुचारू रूप से संचालित कर सके। एमएसएमई में अधिक कंपटीशन है। जीएसटी का स्लैब एक होना चाहिए। - अजय शुक्ला, अध्यक्ष, भोजीपुरा इंडस्ट्रियल एरिया

बीते वर्ष एमएसएमई सेक्टर काफी दवाब में रहा है। लेट पेमेंट पर ब्याज और पेनाल्टी नहीं लगनी चाहिए। कर्मचारियों को सामाजिक सुरक्षा मिलती है, लेकिन इंडस्ट्री लगाने वाले उद्यमी को कोई सामाजिक सुरक्षा नहीं है।- सुरेश सुंदरानी, उद्यमी

व्यापारी चाहते हैं कि 10 लाख रुपये तक इनकम टैक्स में छूट दी जाए। जीवन रक्षक दवाओं पर टैक्स कम किया जाए। हेल्थ बीमा की कवरेज बढ़े। रियल स्टेट डाउन चल रही है, इसमे उदार और व्यापक छूट दी जाए। -राजेंद्र गुप्ता, प्रांतीय महामंत्री, उप्र उद्योग व्यापार मंडल

ऑटो सेक्टर में भी जीएसटी की कटौती होनी चाहिए। कोरोना के बाद गाड़ी खरीदने वालों की संख्या बढ़ी है। 28 फीसद जीएसटी से 18 फीसद किया जाए तो आटो सेक्टर में और उछाल आएगा।- सचिन भसीन, ऑटोमोबाइल कारोबारी

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