जलनिकासी बनी मुसीबत, संक्रमण से बचाव को कराया दवा का छिड़काव

बीते दिनों हुई बारिश के पानी की निकासी मुसीबत बनती जा रही है। बुधवार की दोपहर करीब आधे घंटे हुई बारिश ने इस समस्या को और बढ़ा दिया है। जलभराव से परेशान जनप्रतिनिधि और अफसरों से गुहार लगा रहे हैं।

By JagranEdited By: Publish:Wed, 22 Sep 2021 11:13 PM (IST) Updated:Wed, 22 Sep 2021 11:13 PM (IST)
जलनिकासी बनी मुसीबत, संक्रमण से बचाव को कराया दवा का छिड़काव
जलनिकासी बनी मुसीबत, संक्रमण से बचाव को कराया दवा का छिड़काव

बाराबंकी : बीते दिनों हुई बारिश के पानी की निकासी मुसीबत बनती जा रही है। बुधवार की दोपहर करीब आधे घंटे हुई बारिश ने इस समस्या को और बढ़ा दिया है। जलभराव से परेशान जनप्रतिनिधि और अफसरों से गुहार लगा रहे हैं। अफसर भी निरीक्षण करने के साथ ही संक्रमण से निजात दिलाने के लिए स्कूल और मुहल्लों में दवा का छिड़काव करा रहे हैं।

नगर के प्राथमिक विद्यालय पैसार देहात में पानी घटने पर दवा का छिड़काव नगर पालिका की ओर से कराया गया। मखदूमपुर में जलनिकासी के लिए खोदे गए कच्चे नाले का बुधवार को डीएम डा. आदर्श सिंह ने निरीक्षण कर अधिकारियों को जल्द से जल्द जलनिकासी कराने के निर्देश दिए। उधर, दशहराबाग के खलरिया के लोगों ने अखिल जायसवाल, मो. अकील, राजू शुक्ला, आफताफ, गिरीश जायसवाल, राम दुलारे यादव, मुकेश शुक्ल नगर पालिका परिषद अध्यक्ष शशि श्रीवास्तव के प्रतिनिधि व पूर्व अध्यक्ष रंजीत बहादुर श्रीवास्तव से मुलाकात कर जलनिकासी की मांग की। बारिश में और हो गए गड्ढे : बारिश के चलते सड़कों पर गड्ढे और अधिक हो गए हैं। 16 सितंबर से गड्ढा भरने का अभियान चलना था लेकिन 15 व 16 सितंबर को अत्यधिक बारिश के चलते ग्रामीण अंचलों में सड़कों के ऊपर से पानी कई दिनों तक बहने से सड़कों के गड्ढे ही नहीं बढ़े बल्कि कई जगह सड़कें ही टूट गई हैं। हरख ब्लाक में तेजवापुर से बरेहटा होते हुए बीबीपुर जाने वाली सड़क पर पानी भर गया था। गांव के पूर्व प्रधान राम प्रसाद ने बताया कि सडृक पूरी तरह क्षतिग्रस्त हो गई है। ड्रेनों की सफाई न होने से जलभराव : जिले में बाढ़ कार्य खंड के अधीन 266 ड्रेन हैं। इनकी उपयोगिता अत्यधिक बारिश होने पर होती है। इनमें से अधिकतर ड्रेनों की सफाई नहीं हो सकी है। एक दशक बाद इतनी ज्यादा बारिश हो गई है कि लगभग हर गांव में जल जमाव है। अधिशासी अभियंता बाढ़ कार्य खंड शशिकांत सिंह का कहना है कि जैदपुर इलाके की राजापुर ड्रेन की सफाई के लिए पोकलैंड मशीन भेजी गई थी ताकि पानी निकासी हो सके, लेकिन ग्रामीणों ने सहयोग नहीं किया। सरयू नदी का बढ़ने लगा जलस्तर : सरयू नदी का जलस्तर फिर बढ़ने लगा है। हालांकि अभी खतरे के निशान 106.070 मीटर के नीचे 105.456 मीटर है। अधिशासी अभियंता बाढ़ कार्य खंड ने बताया कि शारदा व घाघरा बैराज से करीब दो लाख क्यूसिक पानी छोड़ा गया है। ऐसे में चार-पांच सेंटीमीटर पानी बढ़ेगा।

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