रोक हटते ही मची होड़, आवेदन की आई बाढ़
आयुध लाइसेंस निर्गत करने पर अक्टूबर 2014 में लगी रोक हटने के बाद जनपद में असलहे के शौकीनों की बल्ले-बल्ले है। लाइसेंस के लिए आवेदन करने की होड़ मच गई है।
समीर तिवारी जागरण संवाददाता, बलिया : आयुध लाइसेंस निर्गत करने पर अक्टूबर 2014 में लगी रोक हटने के बाद जनपद में असलहे के शौकीनों की बल्ले-बल्ले है। लाइसेंस के लिए आवेदन करने की होड़ मच गई है। इसके लिए रिकार्डतोड़ फार्म लिए जा रहे हैं। एक सप्ताह में 300 से अधिक लोगों ने फार्म लिया है। इसमें अधिकांश युवा हैं। लगभग 50 आवेदकों ने फार्म भर कर जमा भी कर दिया है। जब से रोक हटी है कलेक्ट्रेट में आयुध अनुभाग में जबर्दस्त हलचल है। यहां रोज भीड़ जुट रही है। आम तौर पर खाली रहने वाले कर्मचारियों को काफी मशक्कत करनी पड़ रही है। अधिकारी भी इसकी लगातार मॉनिट¨रग कर रहे हैं। कर्मचारियों ने बताया कि रोक लगने से पहले अमूमन साल भर में अधिकतम 50 आवेदन आते थे। इस समय आवेदन की भरमार है। रोक लगने के वक्त भी 25-30 आवेदन आए हुए थे। उन्हें दोबारा से आवेदन करना होगा।
पुलिस लाइन में दी जाएगी ट्रे¨नग
पूर्व में असलहे के लाइसेंस के लिए हथियार चलाने की ट्रे¨नग आवश्यक थी, जिसका प्रमाण पत्र आवेदन के साथ संलग्न करना पड़ता था। आठ अक्टूबर को जारी शासनादेश के अनुसार वर्तमान व्यवस्था में लाइसेंसधारक असलहा खरीदने के बाद अपने जनपद के पुलिस लाइन के आर्मोरर से इसकी ट्रेंनिग लेकर अपना हथियार चला सकते हैं। इसके लिए बिना बुलेट की ट्रे¨नग दी जाएगी। वर्जन---
जनपद के विभिन्न थाना क्षेत्रों से इस समय असलहे के लाइसेंस के लिए आवेदन पड़ रहे हैं। काफी समय बाद रोक हटने से आवेदन करने वालों की संख्या काफी अधिक होती जा रही है। अब तक जिनके आवेदन प्राप्त हो चुके हैं उन्हें संबंधित थानों पर भेज दिया गया है।
--डा. विश्राम, सिटी मजिस्ट्रेट।