बंदियों को पाइप से दिया भाप, जेल में कोरोना का नाश
मिसाल -------------- सब हेड - जिला कारागार में हैं क्षमता से चार गुना अधिक बंदी फिर भी दे
मिसाल
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सब हेड :- जिला कारागार में हैं क्षमता से चार गुना अधिक बंदी, फिर भी देसी तरीके व व्यायाम से कोरोना घुस नहीं पाया
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- व्यायाम, आयुर्वेदिक काढ़ा व होम्योपैथिक दवा से जीत रहे जंग
- जेल अधीक्षक का प्रयास हुआ कारगर, स्वच्छता पर विशेष ध्यान
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जिला कारागार की स्थिति
339 : बंदी की क्षमता
802 : बंदी हैं मौजूद
49 : महिला बंदी
02 : बच्चे
802 : पुरुष बंदी
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सुधीर तिवारी, बलिया
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जेल में बंदियों और जवानों ने कोरोना संक्रमण को मात देने के लिए देसी तरीका अपनाया है। वह प्रतिदिन भाप ले रहे हैं, इसके चलते अभी तक जेल के अंदर कोरोना फटक नहीं पाया है। कोरोना की दूसरी लहर को देखते हुए जेल प्रशासन ने पहले से ही अपनी तैयारी कर ली थी। 45 प्लस बंदी व जवानों को वैक्सीन लगवा लिया। इसके बाद जेलर अंजनी गुप्ता ने कोरोना से बचाव के लिए नई तरकीब निकाली। भाप तैयार करने के बाद पाइप के सहारे एक निश्चित स्थान पर सप्लाई दी जाने लगी। इसी के सामने आकर सभी बंदी और जवान भाप लेते हैं। प्रतिदिन व्यायाम व आयुर्वेदिक काढ़ा सबको दिया जाने लगा, इससे उनकी प्रतिरोधक क्षमता दुरुस्त रही। सभी बंदी व जवानों को होम्योपैथिक दवा को सेवन कराया जा रहा है। यह बंदी व जेल कर्मियों के लिए रामबाण बना हुआ है वहीं सभी को हाथ धुलाई की व्यवस्था की गई है।
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बंदी व सुरक्षा कर्मी बारी-बारी से लेते हैं भाप
जेल में पाइप को एक स्थान पर रखा गया है। जहां बंदी व सुरक्षाकर्मी बारी-बारी से भाप लेते हैं। डीआइजी जेल ने इस कार्य पर जेलर की सराहना भी किया है। उन्हें इसके लिये सम्मानित भी किया जाएगा।
-----वर्जन---
कोरोना संक्रमण की दूसरी लहर खतरनाक है। जेल को संक्रमण से दूर रखने के लिए कई अतिरिक्त उपाय किये गये हैं। बंदियों एवं कर्मचारियों का रोज ऑक्सीजन लेवल व टेंपरेचर आदि चेक किया जाता है। किसी का लेवल सामान्य न रहने पर उसे तुरंत क्वारंटाइन कर दवा का सेवन करवाया जाता है। --- अंजनी गुप्ता, जेलर, जिला कारागार