59 हादसों ने निगलीं 37 जिदगियां, आइ-रेड प्रोजेक्ट की पहली रिपोर्ट
जागरण संवाददाता बलिया सड़क दुर्घटनाओं का कारण व निवारण अब तलाशा जाने लगा है। आइ-र
जागरण संवाददाता, बलिया : सड़क दुर्घटनाओं का कारण व निवारण अब तलाशा जाने लगा है। आइ-रेड एप
(इंटीग्रेटेड रोड एक्सीडेंट डाटा) की पहली रिपोर्ट आ चुकी है। फरवरी से अब तक जिले में कुल 59 बड़े सड़क हादसे हुए हैं, इसमें 37 लोगों की मौत हो गई। 25 लोग घायल हो गये हैं। राष्ट्रीय परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय 15 फरवरी से बलिया समेत प्रदेश के 59 जनपदों में सड़क हादसों पर अध्ययन शुरू करा चुका है। सभी थाना क्षेत्रों में हो रहे हादसों का डाटा बैंक तैयार हो रहा है। उपनिरीक्षक लाइव फीडिग कर रहे हैं। मोबाइल एप से दुर्घटना का कारण व निवारण खोजा जा रहा है। परिवहन, स्वास्थ्य व एनएचएआइ को अलर्ट मोड में रखा गया है। मौतों की यह रिपोर्ट 15 फरवरी से अब तक की है। पिछले दिनों परियोजना को धरातल पर उतारने के लिये सभी थानाध्यक्ष, उप निरीक्षक एवं कंप्यूटर ऑपरेटरों को प्रशिक्षित किया गया था।
कोट
थानों में सभी दुर्घटनाओं का ब्योरा आइ रेड एप में फीड किया जा रहा है। वे अपने थाना क्षेत्र में हुई दुर्घटना को तत्काल फीड करा दें, इससे हादसों को कम करने में मदद मिलेगी।
-भूषण वर्मा, सीओ लाइन, नोडल ऑफिसर, आई रेड प्रोजेक्ट एप पर दुर्घटनाओं की ऑनलाइन प्रविष्टि की जा रही है। जो भी तकनीकी समस्या आ रही है उसका समाधान कराया जा रहा है।
- निजामुद्दीन अंसारी, डीआइओ, एनआइसी हर रोड एक्सीडेंट का विवरण फीड हो रहा है। दुर्घटना का कारण व निवारण पर काम शुरू हो चुका है। लोगों की •िादगी बचाना मुख्य मकसद है।
-गौतम कुमार वर्मा, रोलआउट प्रबंधक, एनआइसी