शिक्षकों ने वित्त एवं लेखाधिकारी को बताई समस्या
प्राथमिक व पूर्व माध्यमिक शिक्षक संघ के प्रतिनिधि मंडल द्वारा वित्त एवं लेखाधिकारी है।
बागपत, जेएनएन। प्राथमिक व पूर्व माध्यमिक शिक्षक संघ के प्रतिनिधि मंडल द्वारा वित्त एवं लेखाधिकारी से मिलकर समस्याओं से अवगत कराया। शिक्षकों ने बताया कि मई माह का वेतन अभी तक नही दिया गया, नवनियुक्त व अंतरजनपदीय स्थानांतरित शिक्षकों के वेतन एवं एक जून को जारी होने वाले अवशेष चयन वेतनमान के आदेशों पर अभी तक कार्रवाई न होने को लेकर रोष व्यक्त किया। वर्ष 2014 के बाद नियुक्त शिक्षकों एवं कर्मचारियों को सामूहिक बीमा कटौती के बारे में अवगत कराया। इस सप्ताह में चयन वेतनमान के प्रकरणों पर आदेश जारी नहीं किया गया तो धरना देने को मजबूत होंगे। लेखाधिकारी आशीष वर्मा ने आश्वासन दिया कि मई माह का वेतन अगले दो दिनों में, चयन वेतनमान की जो पत्रावली लेखा कार्यालय में लंबित है, उनका निस्तारण इसी सप्ताह में करके जून माह के वेतन के साथ चयन वेतनमान का भुगतान कर दिया जाएगा। विकास मलिक, राकेश यादव, राजकुमार शर्मा, ईश्वरपाल सिंह, योगेश शर्मा, मनोज कुमार, संजीव कौशिक, प्रदीप शर्मा, विनीत कुमार आदि मौजूद रहे। आज से दूर होंगी त्रुटियां, एक दिन का और बढ़ाया समय
यूपी बोर्ड की हाईस्कूल और इंटरमीडिएट के छात्रों अभिलेखों में गलतियों को दूर कराने के लिए छात्रों को इधर-उधर भटकना न पड़े, इसके लिए शासन स्कूलों को ही जिम्मेदारी दे दी है। तीन दिन तक शासन ने त्रुटियों को दूर करने के लिए वेबसाइट को क्रियाशील कर दिया है। पहले दो दिन का समय निर्धारित किया था।
कोरोना महामारी के चलते यूपी बोर्ड की हाईस्कूल और इंटरमीडिएट परीक्षा रद हो गई है। अब रिजल्ट घोषित करने की तैयारियां शासन स्तर से की जा रही है। अब शासन से पंजीकृत छात्रों के नामों में किसी की तरह की त्रुटि है, तो उसका दूर करने के लिए निर्देशित किया है। 15 से 17 जून वेबसाइट क्रियाशील होगी, इन तीन दिनों में छात्रों की सभी त्रुटियों को दूर किया जाएगा। डीआइओएस सर्वेश कुमार ने सभी कालेजों के प्रधानाचार्यों को निर्देशित किया है कि किसी भी छात्र को परेशानी नहीं होनी चाहिए। नाम, माता-पिता, विद्यालय का नाम, स्थायी पता या जन्म तिथि में गड़बड़ी हो जाती है। इसका ही विशेष ध्यान रखना है, अन्य जो भी गलतियां हैं, उन पर भी नजर रखेंगे। नामों में परिवर्तन नहीं किया जाएगा। यह कार्य अत्यंत महत्वपूर्ण है, इसमें किसी भी प्रकार की शिथिलता के लिए संबंधित प्रधानाचार्य उत्तरदायी माने जाएंगे।