चीनी मिल ने गन्ना खरीद को जारी किया इंडेंट

किसानों के लिए राहत की खबर। सहकारी चीनी मिल बागपत ने गन्ना खरीद को इंडेंट जारी कर दिया है। सहकारी गन्ना विकास समिति के सचिव अनिल कुमार यादव ने बताया कि एक नवंबर से सहकारी चीनी मिल बागपत ने पेराई शुरू करने को मिल गेट का 1100 कुंतल खरीद का इंडेंट जारी किया है।

By JagranEdited By: Publish:Tue, 26 Oct 2021 12:40 AM (IST) Updated:Tue, 26 Oct 2021 12:40 AM (IST)
चीनी मिल ने गन्ना खरीद को जारी किया इंडेंट
चीनी मिल ने गन्ना खरीद को जारी किया इंडेंट

जेएनएन, बागपत। किसानों के लिए राहत की खबर। सहकारी चीनी मिल बागपत ने गन्ना खरीद को इंडेंट जारी कर दिया है। सहकारी गन्ना विकास समिति के सचिव अनिल कुमार यादव ने बताया कि एक नवंबर से सहकारी चीनी मिल बागपत ने पेराई शुरू करने को मिल गेट का 1100 कुंतल खरीद का इंडेंट जारी किया है।

वहीं गन्ना इंडेंट जारी होने से सहकारी चीनी मिल बागपत को गन्ना आपूर्ति करने वाले बीस हजार किसानों

को बड़ी राहत मिलेगी। समय से गन्ना कटाई होगी तो समय से खेत खाली होंगे और फिर समय से गेहूं की बुआई हो सकेगी।

गन्ना आयुक्त ने गत सप्ताह बागपत सहकारी चीनी मिल को 77 लाख कुंतल से ज्यादा गन्ना आवंटित कर दिया था। वहीं, जिले में दूसरी चीनी मिलों के चलने की तारीख घोषित नहीं होने से हजारों किसानों में बेचैनी है, क्योंकि समय से गन्ना कटाई नहीं होगी तो गेहूं बुआई में विलंब होगा।

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इन्होंने कहा

सहकारी चीनी मिल रमाला और प्राइवेट मिल मलकपुर में भी एक नवंबर से गन्ना पेराई शुरू हो सकती है। हालांकि, अभी इन दोनों मिलों ने गन्ना खरीद को इंडेंट जारी नहीं किया है।

-डा. अनिल कुमार भारती, जिला गन्ना अधिकारी ब्रेक हो सकती है 20 हजार किसानों की गन्ना सप्लाई

अब चीनी मिलें चलने वाली हैं, लेकिन बागपत में 20 हजार से ज्यादा किसानों ने गन्ना विभाग की साइट पर आनलाइन घोषणा पत्र नहीं भरा है। गन्ना विभाग ने अंतिम मौका देकर चेताया कि 30 अक्टूबर तक घोषणा पत्र नहीं भरने वाले किसानों को चीनी मिलों में गन्ना आपूर्ति करने को पर्चियां जारी नहीं होंगी।

जिला गन्ना अधिकारी डा. अनिल कुमार ने बताया कि जिन किसानों ने आज तक घोषणा पत्र नहीं भरा है, उन्हें मिलों में गन्ना बेचने की सुविधा नहीं मिलेगी। लिहाजा बिना देरी किए अपना घोषणा पत्र भर दें। यदि

घोषणा पत्र भरने में कहीं कोई दिक्कत आ रही है तो सहकारी गन्ना समितियों के सचिव तथा सुपरवाइजर

से संपर्क कर उनकी मदद ले सकते हैं। ज्येष्ठ गन्ना विकास निरीक्षक अनिल कुमार ने बताया कि किसानों को घोषणा पत्र में गाटा संख्या, खतौनी क्रमांक, कुल रकबा, हिस्सा प्रतिशत, वास्तविक रकबा, गन्ना प्रजाति और पेड़ी-पौधा जैसा विवरण भरना होता है।

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