मंडी में चढ़े दाल के भाव, सरसों का तेल भी हुआ महंगा

कोरोना क‌र्फ्यू की बढ़ रही मियाद के बीच महंगाई दबे पांव चली आई।

By JagranEdited By: Publish:Sat, 08 May 2021 12:01 AM (IST) Updated:Sat, 08 May 2021 12:01 AM (IST)
मंडी में चढ़े दाल के भाव, सरसों का तेल भी हुआ महंगा
मंडी में चढ़े दाल के भाव, सरसों का तेल भी हुआ महंगा

बागपत, जेएनएन। कोरोना क‌र्फ्यू की बढ़ रही मियाद के बीच महंगाई दबे पांव चली आई। मंडी से थोक में आने वाली चीजों पर एकाएक 10 से 15 रुपये की बढ़ोत्तरी हो गई, जिनका रिटेल में भाव 20 से 30 रुपये प्रति किग्रा बढ़ गया है।

स्थानीय मंडी में छोले के थोक भाव में बुधवार को ही 12 रुपये की बढ़ोत्तरी बादस्तूर जारी है, जिसके बाद रिटेल में 95 रुपये प्रति किग्रा बिक रहे छोले 115 रुपये में बिक रहे हैं। वहीं छिलके वाली मूंग दाल के थोक भाव में आठ रुपये चढ़ने के बाद रिटेल में दाल अब 117-120 रुपये प्रति किग्रा के आसपास बिक रही है। मंडी में भारत ब्रांड के सरसों पर 28 रुपये बढ़ोतरी के बाद अब खुले बाजार में इसकी कीमत 140 से बढ़कर 168 रुपये प्रति लीटर हो गई है।

-----

फलों के दाम भी चढ़े

--कोरोना काल में विटामिन सी वाले फल जबरदस्त डिमांड में चल रहे है। इससे उनके भाव भी तेजी से बढ़ रहे हैं। फिलहाल नारियल पानी के रेट सबसे ज्यादा बढ़े है। 10 दिन पहले 40 रुपये प्रति नग बिक रहा नारियल पानी अब सीधे दोगुने भाव में 80 रुपये में बिक रहा है। इसके अलावा आलू बुखारा का भाव 70 से 100 रुपये प्रति किग्रा, कीवी 30 रुपये से 70 रुपये प्रति नग, मौसमी 50 रुपये से 100 रुपये प्रति किग्रा, पपीता 40 से 80 रुपये प्रति किग्रा, अनार 40 से 90 रुपये प्रति किग्रा बिक रहा है।

------

बोले शहरवासी..

लाकडाउन की मियाद बढ़ने से लोगों की आदमी की स्त्रोत घट रहे हैं। ऐसे में रसोई के सामान की कीमतों को नियंत्रित किया जाना चाहिए। जिला प्रशासन को बढ़ रही महंगाई के कारण तलाश कर मुनाफाखोरों पर अंकुश लगाना चाहिए।

-प्रीति सिंह

पहले से ही महंगाई बढ़ी हुई है। ऐसे में लाकडाउन के बीच में खाने-पीने के सामानों के दामों में वृद्धि ठीक नहीं है। प्रशासन को रसोई का सभी सामान कंट्रोल रेट पर मुहैया कराना चाहिए।

-राहुल तोमर

chat bot
आपका साथी