लाकडाउन उल्लंघन पर इंस्पेक्टर ने अधीनस्थों को दी हिदायत

कोरोना से जंग के लिए प्रदेश में लाकडाउन लागू है।

By JagranEdited By: Publish:Sat, 08 May 2021 10:26 PM (IST) Updated:Sat, 08 May 2021 10:26 PM (IST)
लाकडाउन उल्लंघन पर इंस्पेक्टर ने अधीनस्थों को दी हिदायत
लाकडाउन उल्लंघन पर इंस्पेक्टर ने अधीनस्थों को दी हिदायत

बागपत, जेएनएन। कोरोना से जंग के लिए प्रदेश में लाकडाउन लागू है। लोगों की परेशानी को देखते हुए सुबह तीन घंटे दुकान खोलने की अनुमति मिली है। लेकिन इन तीन घंटों में सर्वाधिक नियमों की धज्जियां उड़ाई जा रही हैं। वहीं व्यापारी चोरी-छिपे दिन भर सामान बेचते रहते हैं। नवागंतुक इंस्पेक्टर शिव प्रकाश ने शनिवार को कोतवाली स्टाफ की मीटिग ली। लाकडाउन व कोरोना नियम पालन को सख्ती करने के लिए निर्देश अधीनस्थों को दिए। कहा कि किसी भी कीमत पर नियमों का उल्लंघन न हो। पालन नहीं करने वालों के खिलाफ चालानी व कानूनी कार्रवाई की जाए। मीटिग के बाद बाजार में पुलिस की सख्ती देखने को मिली। उल्लंघन पर आधा दर्जन से अधिक बाइक सवारों पर पुलिस ने चालानी कार्रवाई की।

पुलिस ने बरती सख्ती तो हुईं दुकानें बंद

संवाद सहयोगी, खेकड़ा : सुबह तीन घंटे बाजार में पैर रखने की जगह भी नहीं मिलती है। ऐसे में कोरोना संबंधी नियमों का कितना पालन होता होगा, अंदाजा लगाया जा सकता है। परंतु कोरोना से लगातार मौतों का आंकड़ा व पीड़ितों की संख्या बढ़ रही है। संक्रमण को फैलने से रोकने के लिए शनिवार को पुलिस ने बाजार में सख्ती बरती। गश्त कर लोगों से नियमों का पालन तो कराया ही साथ ही तय समय पर दुकानें भी बंद कराई। बाद में कोई दुकान न खुले इसके लिए पुलिस गश्त भी जारी रही। पुलिस ने दुकानदारों से व्यवस्था बनाए रखने की अपील भी की है। इच्छा शक्ति रखें मजबूत, समय पर लें दवाइयां

गत दिनों कोरोना संक्रमण की चपेट में आए सुबोध कुमार का कहना है कि उन्हें कब कोरोना हुआ पता ही नहीं लगा। हल्का बुखार व खांसी होने के बाद जांच कराई, तो कोरोना संक्रमित निकले। लगातार मौत का सिलसिला जारी था, एक बारगी तो जहन में आया कि शायद कोरोना उन्हें भी मौत की नींद सुला देगा। पर उन्होंने कोरोना वायरस को खुद पर हावी नहीं होने दिया। अस्पताल में भर्ती रहे, लेकिन कभी महसूस नहीं किया कि उन्हें कोरोना है। इच्छा शक्ति मजबूत रखते हुए दवाइयां समय से लेते हुए जानलेवा वायरस को शिकस्त दी। अब पूर्णतया स्वस्थ है और अपने दैनिक कामकाज को बखूबी अंजाम दे रहे हैं। जहन में कोरोना का फोबिया कतई न बनने दें अगर एक बार फोबिया ने दिमाग में जगह बनाई तो हराना बेहद मुश्किल होगा।

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