कागजों में सिमटा प्रदूषण से बचाव का काम
वायु प्रदूषण के कारण जिला नौ दिन से गैस चैंबर बना है।
बागपत, जेएनएन। वायु प्रदूषण के कारण जिला नौ दिन से गैस चैंबर बना है। सेटेलाइट से बागपत में फसल अवशेष जलाने के छह मामले पकड़े जाने के बाद अपर मुख्य सचिव ने सख्त नाराजगी जताई। देखना है कि अब कितना सुधार हो रहा है।
मंगलवार दोपहर को एयर क्वालिटी इंडेक्स 440 तथा दोपहर बाद 437 रहा है। पीएम-2.5 का लेवल 437 व पीएम-10 का लेवल 366 रहा है। इसके बावजूद प्रदूषण से बचाव का काम धड़ाम है।
पंद्रह-बीस साल पुराने कंडम वाहन सड़कों पर बेशुमार धुआं छोड़ते हुए दौड़ रहे हैं। धूल के गुबार, मिट्टी खनन, फैक्ट्रियों से निकलता धुआं, ट्रकों में बिना ढके डस्ट ढुलाई, सड़क निर्माण से उड़ती धूल से कण हवा खराब कर रहे हैं पर सरकारी तंत्र चादर तानकर सोया है। फसल अवशेष और कूड़ा जल रहा। प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के सहायक अभियंता प्रखर कटियार ने कहा कि नगर निकायों से सड़कों पर पानी का छिड़काव कराने को कहा गया है। फसल अवशेष जलाने पर नोटिस जारी
अपर मुख्य सचिव मनोज कुमार सिंह ने वीडियो कांफ्रेंसिग के जरिए बागपत में बढ़ते वायु प्रदूषण पर चिता जताते हुए इसे रोकने के का निर्देश अधिकारियों को दिया है। बागपत में सेटेलाइट से फसल अवशेष जलाने के छह मामले पकड़ में आने पर नाराजगी जताते हुए फसल अवशेष व कूड़ा जलाने पर रोक की हिदायत दी। 15 साल पुराने वाहनों के संचालन पर रोक तथा सड़कों ओर निर्माण स्थलों पर पानी छिड़काव की हिदायत दी। उप कृषि निदेशक प्रशांत कुमार ने बताया कि फसल अवशेष जलाने वालों को नोटिस जारी कर दिए हैं। इनके खिलाफ कार्रवाई होगी।