सुनहरी दीवार के पीछे छिपा शौचालय का भ्रष्टाचार

शासन ने तो विकास के लिए पिटारा खोल दिया लेकिन नीचे बैठे लोगों ने उस पर भ्भ्रष्टाचार का घुन लगा दिया।

By JagranEdited By: Publish:Wed, 01 Sep 2021 11:41 PM (IST) Updated:Wed, 01 Sep 2021 11:41 PM (IST)
सुनहरी दीवार के पीछे छिपा शौचालय का भ्रष्टाचार
सुनहरी दीवार के पीछे छिपा शौचालय का भ्रष्टाचार

बागपत, जेएनएन। शासन ने तो विकास के लिए पिटारा खोल दिया, लेकिन नीचे बैठे लोगों ने उस पर भ्रष्टाचार का घुन लगा दिया। सपना था कि कोई अब खुले में शौच को नहीं जाएगा। इसी सपने को पूरा करने के लिए गांवों में सामुदायिक शौचालयों का निर्माण कराया गया। करोड़ों खर्च के बावजूद सामुदायिक शौचालयों का निर्माण मानक से मीलों दूर है। आलम यह है कि सामुदायिक शौचालयों के सामने की दीवारों पर सुनहरा रंग कराकर वाल पेंटिग से घटिया निर्माण रूपी भ्रष्टाचार को ढक दिया गया। अंदर का हाल यह है कि कहीं पानी नहीं है तो कहीं वाश बेसिन चटक गए हैं। कुछ में सेप्टिक टैंक पाइप और टोंटी तक टूट गई हैं। दीवारों में दरार आ गई है। सोख्ता क्षतिग्रस्त है। बिजली कनेक्शन, सबमर्सिबल पंप और रोशनदान गायब हैं। लोहे के बजाय टिन के दरवाजे लगा दिए गए हैं। कुछ शौचालयों की सीट भी चोक हो चुकी है। आइए देखते हैं हैंडओवर किए जा चुके उन शौचालयों का हाल जहां घुसते ही भ्रष्टाचार की बू आने लगती है। शायद जिम्मेदार अफसरों के पास इतना समय नहीं है कि एक बार वह इन शौचालयों का हाल देख सकें। ---

तो इनमें लगी घटिया सामग्री

जिले की 244 ग्राम पंचायतों में 220 में सामुदायिक शौचालय बने हैं। कागजों में 198 संचालित हो रहे हैं। करीब 3.04 करोड़ से बने 108 सामुदायिक शौचालय घटिया निर्माण सामग्री की पोल खोल रहे हैं। सुविधाएं न होने से इन शौचालयों को लोग इस्तेमाल नहीं कर रहे और खुले में शौच जाने को मजबूर हैं।

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जाएं तो जाएं कैसे, सीट ही चोक

जिले के 18 सामुदायिक शौचालयों की सीट चोक हो गई। जैसे पांच माह पूर्व बने पाबला और गाधी के सामुदायिक शौचालयों की सीट चोक है। फतेहपुर पुट्ठी में शौचालय और वाश बेसिन टूटी है। हिलवाड़ी में दीवार क्रेक है, बुढेडा के सामुदायिक शौचालय का सोख्ता गड्ढा क्षतिग्रस्त है। चौहल्दा में दिव्यांगों के लिए रैंप नहीं बना और वाश बेशिन तथा सेप्टिक टैंक का पाइप टूट गया है। निबाली, बिहारीपुर और अहमदशाहपुर पदड़ा में पानी की टोंटी टूटी है। सुल्तानपुर हटाना के सामुदायिक शौचालय की सीट चोक है तथा फर्श पर टाइल नहीं लगी हैं। पुसार के सामुदायिक शौचालय का दरवाजा निम्न कोटि का है। रमाला के सामुदायिक शौचालयों में बिजली फिटिग व कनेक्शन नहीं है।

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महिला और पुरुष के लिए एक दरवाजा

लापरवाही और पैसों के दुरुपयोग की बानगी देखिए कि दौलतपुर के सामुदायिक शौचालय के बने स्नानघर में महिला और पुरुष के लिए एक ही दरवाजा लगा दिया, जो सामाजिक ²ष्टि से तो कतई ठीक नहीं है। टयोढ़ी के सामुदायिक शौचालय की सीट से पानी की टोंटी दूर लगी है।

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नहीं बना दिव्यांगों का शौचालय

सिखेड़ा गांव में तीन लाख रुपये से बना सामुदायिक शौचालय का निर्माण वर्ष 2020 में हुआ, लेकिन पांच माह पूर्व उद्घाटन के समय से ही बंद हैं। दिव्यांगों के शौचालय में सीट ही नहीं लगी है। दीवार सुनहरी रंग तथा वाल पेंटिग से चमका रखी है, लेकिन शौचालय के अंदर वाश बेशिन में पाइप नहीं लगा है। सामुदायिक शौचालय के लिए पास के इंडिया मार्का हैंडंपप में सबमर्सिबल पंप लगा दिया, जिससे ग्रामीण घरों के लिए पानी नहीं भर पा रहे हैं।

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पानी की टोंटी ही लगाना भूल गए

रठौड़ा का सामुदायिक शौचालय बंद मिला, लेकिन एक साल में ही जर्जर हो चुका है। यहां स्नान घर बना है, लेकिन निर्माणकर्ता टोंटी लगाना ही भूल गए। ग्रामीणों ने सवाल उठाया कि जब इसे ढंग से चालू नहीं कराना था तो फिर लाखों रुपये खर्च कर इसका निर्माण ही क्यों कराया गया। वहीं, सरूरपुरकलां के सामुदायिक शौचालय में रोशनदान लगाना भूल गए। अब फिर सरकारी धन का दुरुपयोग कर रोशनदान के लिए शौचालय की दीवार तोड़ी गई है।

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-शौचालय जर्जर हालत में हैं तथा इसमें बने स्नानघर में टोंटी नहीं लगने से लोगों को फायदा नहीं मिल रहा।

-आशीष कुमार, रठौड़ा

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-सामुदायिक शौचालय पर बिना वजह लाखों रुपये खर्च किए, क्योंकि निर्माण घटिया होने से इन शौचालयों का लाभ नहीं मिल पा रहा।

-हरिप्रकाश, सिखेड़ा

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-मरम्मत कराकर तथा टोंटी लगवाकर सामुदायिक शौचालयों का ढंग से संचालन कराया जाएगा।

-कौशर, प्रधान रठौड़ा

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मेरे प्रधान बनने से पहले सामुदायिक शौचालय बना है। अब मरम्मत कराकर चालू कराएंगे।

-धर्मदेव, प्रधान, सिखेड़ा

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कुछ सामुदायिक शौचालयों में घटिया निर्माण सामग्री का लगा होना और कुछ के मानक के अनुसार नहीं बनने का मामला संज्ञान में है। ऐसे शौचालयों को ठीक करवाकर सही से संचालित कराएंगे। घटिया निर्माण सामग्री लगाने वालों की जांच कराकर कार्रवाई की जाएगी। जल्द ही ऐसे शौचालयों का निरीक्षण किया जाएगा।

-रंजीत सिंह, मुख्य विकास अधिकारी

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