वीडियो कॉलिग के बाद सुर्खियों में जेल, डीएम-एसपी पहुंचे

डीएम व एसपी सोमवार की सुबह पुलिस फोर्स के साथ जिला कारागार का आकस्मिक निरीक्षण किया। डीएम ने जेल अधिकारियों से मिलकर जेल के सुरक्षा व्यवस्था के बारे में जानकारी ली और

By JagranEdited By: Publish:Mon, 01 Jun 2020 06:23 PM (IST) Updated:Mon, 01 Jun 2020 06:23 PM (IST)
वीडियो कॉलिग के बाद सुर्खियों में जेल, डीएम-एसपी पहुंचे
वीडियो कॉलिग के बाद सुर्खियों में जेल, डीएम-एसपी पहुंचे

जासं, आजमगढ़ : जरायम के बादशाह ने जिला कारागार की सुरक्षा में सेंध लगाई तो सबकी निगाहें जेल में चल रहे कथित खेल पर जा टिकी। उचित भी कि आखिर सरकार की सख्ती के बावजूद वीडियो कॉलिग हुई तो कैसे। यहां सबकुछ ठीक -ठाक होने का दावा किया जाता रहा लेकिन मेरठ पुलिस ने व्यवस्था को बेनकाब करके रख दिया। डीएम-एसपी ने निरीक्षण किया तो सबकुछ ठीक मिला। हालांकि, अधिकारियों ने अधिकृत कुछ भी जानकारी नहीं दी गई, लेकिन ज्वाइनिग के बाद कलेक्टर को जिला कारागार जा पहुंचने से कई तरह के सवाल उठ रहे थे।

जिलाधिकारी राजेश कुमार, एसपी प्रो. त्रिवेणी सिंह सोमवार की सुबह 11 बजे आकस्मिक निरीक्षण के लिए इटौरा स्थित जिला कारागार पहुंचे। उन्होंने जेल के सभी बैरकों के साथ ही बंदियों की तलाशी भी करायी। इस दौरान कोई भी आपत्तिजनक सामान नहीं मिला। अधिकारियों ने जेल की साफ सफाई, भोजन की गुणवत्ता, इलाज के साथ ही सुरक्षा व्यवस्था को भी देखा। उन्होंने बंदियों की आनलाइन पेशी के रिपोर्ट का भी निरीक्षण किया। जेल अधिकारियों को निर्देशित किये कि न्यायालय खुलने के बाद बंदियों को पेशी के समय शारीरिक दूरी का अनुपालन कराया जाए। जिस वाहन से उन्हें पेशी पर भेजा जाए उक्त वाहन को सैनेटाइज भी कराया जाए। डीएम ने बैरकों की सफाई, बंदियों को हाथों को सैनिटाइज करने, साबुन से हाथ की धुलाई करने साथ ही शरीर व कपड़े बिस्तर को भी साफ रखने के लिए कहा। जेल अधीक्षक आरके मिश्र ने डीएम को बताया कि जेल में ही 2800 मॉस्क तैयार कर बंदियों को वितरित कराया गया है। 343 बंदियों को पैरोल पर रिहा किया गया है। 11 बंदियों को अंतरिम जमानत पर रिहा किया गया है। निरीक्षण के दौरान जेलर के अलावा सभी डिप्टी जेलर भी मौजूद रहे।

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