कोरोना की दूसरी लहर ने रोकी गेहूं खरीद की रफ्तार

-खरीद वर्ष 2020-21 -प्रचंड गर्मी में सुदूर क्रय केंद्रों पर बिक्री की औपचारिकताएं पड़ रह

By JagranEdited By: Publish:Wed, 28 Apr 2021 12:53 AM (IST) Updated:Wed, 28 Apr 2021 12:53 AM (IST)
कोरोना की दूसरी लहर ने रोकी गेहूं खरीद की रफ्तार
कोरोना की दूसरी लहर ने रोकी गेहूं खरीद की रफ्तार

-खरीद वर्ष 2020-21 :::

-प्रचंड गर्मी में सुदूर क्रय केंद्रों पर बिक्री की औपचारिकताएं पड़ रहीं भारी

-खलिहान से होती खरीद तो अन्नदाताओं को मिलती राहत

-फूलपुर में 170 के सापेक्ष 18 किसानों से अब तक हुई खरीद

जागरण संवाददाता, फूलपुर (आजमगढ़) : एक तो वैश्विक महामारी कोरोना की दूसरी लहर का डर दूसरे प्रचंड गर्मी। ऐसे में क्रय केंद्रों पर गेहूं की बिक्री की औपचारिकता कष्टादायी साबित हो रही है। यदि खलिहान से ही गेहूं की खरीद की जाती तो किसानों को काफी राहत होती और खरीद में तेजी भी आती। समय से भुगतान मिलने के बाद कोरोना काल में राहत भी होती। यह पीड़ा है फूलपुर तहसील के अन्नदाताओं की।

तहसील फूलपुर क्षेत्र में पांच क्रय केंद्र स्थापित किए गए हैं। जिसमें विपणन शाखा पवई व फूलपुर, साधन सहकारी समिति सुम्हाडीह, खरसहन कला और पारा अहरौला शामिल हैं। एक अप्रैल से अब तक 170 किसानों का पंजीकरण कराया गया है लेकिन खरीद मात्र 18 किसानों से ही हो सकी है। अब तक 635 क्विंटल गेहूं की खरीद की जा चुकी है। प्रति क्विंटल 1975 रुपये सरकारी दर पर खरीद हो रही है। 20 रुपये पल्लेदारी देनी पड़ती है।

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क्रय केंद्रों से जुड़े गांव आवंटन में मनमानी

किसानों की परेशानी है कि क्रय केंद्रों पर गांव का आवंटन करने में मनमानी से क्रय केंद्र किसानों की पहुंच से दूर हो गए। ट्रैक्टर-ट्राली, पिकअप आदि के जरिये ही पहुंचना विकल्प होने से जेब ढीली होती है। फूलपुर तहसील से सटे गांव दुर्वासा, बनवीरपुर, सुल्तानपुर, दुबैठा आदि फूलपुर गोदाम से मात्र पांच किमी दूर पड़ता है। निजामाबाद तहसील होने के कारण इन गांवों के किसानों की तौल सरायमीर विपणन गोदाम पर होती है। जिसकी दूरी 16 से 17 किमी पड़ जाती है। किसान राम प्रकाश सिंह, नीरज, चंद्रमौलि पांडेय, पद्माकर सिंह ने बताया कि गांव आवंटन में अधिकारियों ने किसानों की सुविधा नहीं देखी गई।

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किसानों की परेशानी, उन्हीं की जुबानी

पांच बीघा गेहूं बोया था। पंचायत चुनाव में मजदूरों का अभाव रहा। वर्तमान में कोरोना संक्रमण के भय से मजदूर नहीं मिल रहे कि गेहूं लोड करा तौल केंद्र भेजवाएं। रोजा में खुद से धूप में क्रय केंद्र पर दौड़ लगाना मुश्किल हो जाता है। पहले तो खतौनी की नकल निकालो, ऑनलाइन आवेदन करो, नेटवर्क की परेशानी तो जनसेवा केंद्र का चक्कर अलग से। रजिस्ट्रेशन के बाद क्रय केंद्र पर नमी पर सुखाकर लाने का आदेश। साफ और नमी नहीं मिली तो फोन नंबर नोट कर फिर कहा जाता है कि बताया जाएगा।

-मो. अनवर, सुदनीपुर।

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दो अप्रैल को रजिस्टेशन कराया था। तीन अप्रैल को कागज जमा कराया। गेहूं सुखाने और सफाई कराने में समय लग गया। आज करीब दो ट्रैक्टर ट्रॉली पर लगभग 70 क्विंटल गेंहू की तौल कराने विपणन गोदाम तौल कराने आया हूं। कोई असुविधा नहीं हुई। विपणन केंद्र से मात्र 500 मीटर दूर क्रय केंद्र है।

-रामपाल मौर्य, सहजेरपुर।

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केंद्र प्रभारी

170 किसानों का पंजीकरण है। 18 किसानों से 635 क्विंटल गेहूं क्रय कर भुगतान खाते में 72 घंटे में दे दिया गया है। बैंक कर्मचारियों के प्रभावित होने से कई बार दिक्कत भी हो रही है। क्रय केंद्र पर किसानों के बैठने, पानी पीने सहित सैनिटाइजर की व्यवस्था की गई है।

-माया शंकर, गोदाम प्रभारी, विपणन शाखा।

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क्रय केंद्रों पर किसानों की सुविधा का ध्यान दिया जा रहा है। कोरोना काल में एहतियात बरतने का आदेश क्रय केंद्र प्रभारियों को दिया गया है। किसी किसान की अब तक कोई शिकायत नहीं मिली है।

-रावेंद्र सिंह, उपजिलाधिकारी फूलपुर।

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