बजट स्वीकृत होने के बावजूद अधूरे पड़े पंचायत भवन
जागरण संवाददाता औरैया शासन की ओर से प्रत्येक ग्राम पंचायत में पंचायत भवन बनाए जाने के आदेश्
जागरण संवाददाता, औरैया: शासन की ओर से प्रत्येक ग्राम पंचायत में पंचायत भवन बनाए जाने के आदेश जारी किए गए हैं। इसके लिए पिछले वर्ष ही बजट आ गया था। कोरोना काल के चलते धनराशि ग्राम पंचायतों के खातों में नहीं भेजी जा सकी थी। इसके बाद त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव के चलते पंचायत भवन के निर्माण कार्य में देरी हुई थी। अब स्थितियां सामान्य हैं, बावजूद इसके अभी तक एक चौथाई ग्राम पंचायतों में पंचायत भवन नहीं बन सके हैं, जो बने हैं, उनका भी कार्य अधूरा है।
ग्राम पंचायतों में होने वाली खुली बैठक के साथ ही अन्य कार्य प्रभावित न हों, इसके लिए सभी ग्राम पंचायत में मिनी सचिवालय के नाम से ग्राम पंचायत भवन का निर्माण कराया जा रहा है। केंद्र व प्रदेश सरकार की अत्यंत महत्वपूर्ण योजनाओं में से एक इस योजना को लेकर जिले में लापरवाही बरती जा रही है। आलम यह है कि जिले में 125 से अधिक ऐसे ग्राम पंचायत भवन हैं, जिनका निर्माण कार्य अधर में लटका हुआ है। धन की उपलब्धता के बावजूद ग्राम पंचायत सचिवों व एडीओ पंचायत की लापरवाही के चलते करीब एक वर्ष बीत जाने के बावजूद संबंधित ग्राम पंचायत भवन का निर्माण कार्य अधूरा पड़ा है। लगभग एक वर्ष पूर्व 477 ग्राम पंचायत भवन के निर्माण को शासन ने मंजूरी प्रदान की थी। औसतन 25 लाख रुपये की लागत से निर्मित होने वाले प्रत्येक पंचायत भवन के निर्माण को लेकर शुरुआती दौर से ही लापरवाही बरते जाने की शिकायतें सामने आने लगीं। बीते दिनों समीक्षा में डीएम सुनील कुमार वर्मा ने पाया कि 125 से अधिक ग्राम पंचायत भवन का निर्माण कार्य अधूरा पड़ा है। डीपीआरओ संदीप वर्मा ने बताया कि अधूरे पड़े कार्यों को पूरा किए जाने का प्रयास किया जा रहा है। कार्य के प्रति लापरवाही बरतने वालों पर कार्यवाही की जाएगी।