दूसरे दिन स्कूलों में बढ़ी रौनक, कोविड प्रोटोकॉल के तहत हुई पढ़ाई
जागरण संवाददाता औरैया कोरोना काल की वजह से प्रभावित रहा शिक्षण कार्य धीरे-धीरे पटरी
जागरण संवाददाता, औरैया: कोरोना काल की वजह से प्रभावित रहा शिक्षण कार्य धीरे-धीरे पटरी पर लौट रहा है। 16 अगस्त को माध्यमिक स्कूलों में 9वीं से 12वीं तक के विद्यार्थियों की आनलाइन कक्षाएं शुरू हुई थीं। 24 अगस्त से जूनियर स्कूलों में आफलाइन पढ़ाई शुरू कराई गई है। पहले दिन के सापेक्ष दूसरे दिन बुधवार को स्कूलों में ज्यादा रौनक देखने को मिली। इसके साथ ही छात्र-छात्राओं को नए शैक्षिक सत्र के तहत किताबों की उपलब्धता कराई जा रही है। इसके लिए खंड शिक्षाधिकारियों को निर्देश जारी किए गए हैं। उधर, मिड-डे मील वितरण शुरू करा दिया गया है।
जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी चंदना राम इकबाल यादव ने बताया कि छात्र-छात्राओं को समय पर निश्शुल्क पुस्तकों की उपलब्ध हो सके, इसके लिए जुलाई में ही निर्देश जारी किए गए थे। जिले में पुस्तकों की पहली खेप 10 जुलाई को करा दी गई थी। जूनियर व प्राइमरी मिलाकर नौ लाख पुस्तकें आनी हैं। पहली खेप में एक लाख 51 हजार पुस्तक मिली हैं। इनके सत्यापन के लिए कमेटी गठित हैं। सत्यापन के बाद पुस्तकों को ब्लाक संसाधन केंद्रों पर पहुंचाया जा रहा है। जहां से शिक्षक उठान कर रहे हैं। इस बार कक्षा एक से आठ तक कुल 130 प्रकार की पुस्तकें हैं। गणित, अंग्रेजी, हिदी पुस्तकों के नाम में बदलाव हुआ है। हिदी की कक्षा एक के लिए कलरव, किसलय, पंखुड़ी फुलवारी व वाटिका, कक्षा छह से आठ तक के लिए अक्षरा, दीक्षा, प्रज्ञा व गणित की अंकजगत, अंग्रेजी की इंग्लिश रीडर, गृहदर्शन पुस्तकें नई शामिल हैं। परिषदीय, सहायता प्राप्त व मदरसों में पंजीकृत बच्चों की पढ़ाई बाधित न हो, इसके लिए उन्हें समय पर पुस्तक उपलब्ध कराने की प्रक्रिया प्रारंभ हो गई है। कोविड-19 प्रोटोकॉल के तहत कक्षाएं संचालित की जा रही हैं। एक सितंबर से प्राइमरी की कक्षाएं संचालित होंगी।
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निरीक्षण कर की जाएगी जानकारी:
स्कूलों का निरीक्षण कर पुस्तकों के वितरण की जानकारी की जाएगी। जिले में 250 कम्पोजिट व आठ सौ प्राइमरी स्कूल हैं। जिले में परिषदीय विद्यालय, सहायता प्राप्त व कुछ मदरसों में पंजीकृत एक लाख 10 हजार छात्र-छात्राओं को निश्शुल्क पुस्तक उपलब्ध कराई जाती हैं। अभी जो पुस्तक आई हैं उसमें कक्षा चार की अंकजगत, प्राकृतिक, पर्यावरण, संस्कृत सुधा और पांचवीं में वाटिका, गणित ज्ञान और संस्कृत सुबोध है।