लिपिक ने दबाया सेवानिवृत्ति का पत्र, कार्रवाई की मांग
अमरोहा स्वास्थ्य पर्यवेक्षक ने तत्कालीन स्थापना लिपिक पर समय से सूचना न देने भ्रामक समाचार छपवाने का आरोप लगाया है।
अमरोहा : स्वास्थ्य पर्यवेक्षक ने तत्कालीन स्थापना लिपिक पर समय से सूचना न देने, भ्रामक समाचार छपवाने, विभाग की गोपनीयता भंग करने का आरोप लगाया है। सीएमओ को पत्र सौंपकर लिपिक के खिलाफ रिपोर्ट दर्ज कराने की मांग की है।
धनौरा सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में अनिल कुमार पर्यवेक्षक के रूप में तैनात हैं। इन्होंने स्वास्थ्य खराब रहने पर पिछले वर्ष दिसंबर माह में स्वेच्छा से सेवानिवृत्त होने की इच्छा जताते हुए तत्कालीन सीएमओ डा. सौभाग्य प्रकाश को आवेदन किया था। सीएमओ ने आवेदन स्वीकार करते हुए 31 मार्च को सेवानिवृत्त करने की स्वीकृति प्रदान कर दी। इससे पहले 27 मार्च को डिप्टी सीएमओ डा. विनोद कुमार ने कोविड और संचारी रोगों का कार्य प्रभावित होने का हवाला देते हुए सीएमओ से सेवानिवृत्ति की स्वीकृति निरस्त करने का अनुरोध किया। इस पर तत्कालीन सीएमओ ने स्वीकृति निरस्त कर दी थी और निदेशालय को छह माह का समय बढ़ाने के लिए पत्र भेज दिया।
निदेशालय से कोई जवाब नहीं आने पर स्वास्थ्य पर्यवेक्षक काम करते रहे। पांच मई को शासन से पत्र आया। जिसमें लिखा था कि पर्यवेक्षक को आगे काम करने की स्वीकृति नहीं दी जा सकती। इस आदेश से तत्कालीन स्थापना लिपिक से पर्यवेक्षक को अवगत कराने को कहा था। लिपिक ने पर्यवेक्षक को अवगत नहीं कराया और पत्र को दबा लिया। इसके चलते वह काम करते रहे।
पर्यवेक्षक ने मामला संज्ञान में आने पर लिपिक को जिम्मेदार ठहराया है। उन्होंने समय से सूचना न देने, विभाग की गोपनीयता भंग कर भ्रामक समाचार छपवाने का आरोप लगाकर लिपिक के खिलाफ रिपोर्ट दर्ज कराने के लिए सीएमओ डा. संजय अग्रवाल को शिकायतीपत्र दिया है। सीएमओ ने बताया कि उन्होंने अभी पत्र नहीं देखा है, देखने के बाद कार्रवाई की जाएगी।