सावन की पहली बारिश से खिले किसानों के चेहरे

खेतों में पानी के अभाव में फसल सूखने लगी थी। कभी मामूली वर्षा तो कभी सूखे जैसे हालात बनते देख अन्नदाता निराश हो चुके थे। ज्येष्ठ और आषाढ़ महीने की तपन के बाद शुरू हुए सावन महीने के तीसरे दिन बादल जमकर बरसे।

By JagranEdited By: Publish:Tue, 27 Jul 2021 11:51 PM (IST) Updated:Tue, 27 Jul 2021 11:51 PM (IST)
सावन की पहली बारिश से खिले किसानों के चेहरे
सावन की पहली बारिश से खिले किसानों के चेहरे

अमेठी : श्रावण मास शुरू हुए तीन दिन हो चुके हैं। मंगलवार को हुई सावन की पहली बरसात किसानों के लिए वरदान बन गयी। झमाझम बारिश से किसानों के चेहरे खिल गए। किसानों का मानना है कि अब धान की फसल लहलहा उठेगी। वहीं उमस भरी गर्मी से लोगों ने राहत महसूस की है।

खेतों में पानी के अभाव में फसल सूखने लगी थी। कभी मामूली वर्षा तो कभी सूखे जैसे हालात बनते देख अन्नदाता निराश हो चुके थे। ज्येष्ठ और आषाढ़ महीने की तपन के बाद शुरू हुए सावन महीने के तीसरे दिन बादल जमकर बरसे। दिन भर आसमान में बादल छाए रहे। इससे गर्मी से कुछ राहत रही। वहीं दोपहर बाद बारिश हुई। इससे धान की फसल पर अनुकूल असर पड़ने की उम्मीद है। किसान इस बारिश को फसल के लिए मुफीद मान रहे है।

बारिश से जगी किसानों में अच्छी उपज की आस : कृषि विज्ञान केंद्र, कठौरा के वरिष्ठ वैज्ञानिक एवं अध्यक्ष डा. आर के आनंद ने प्राप्त मौसम पूर्वानुमान के अनुसार बताया कि इस सप्ताह हल्की से माध्यम बारिश की संभावना है। बारिश से धान की फसल को काफी लाभ होगा। केंद्र के वैज्ञानिक डा. ओपी सिंह ने बताया कि धान की रोपाई के 30 दिन बाद धान की फसल में खरपतवार नियंत्रण अति आवश्यक है। जिन खेतों में खरपतवार की समस्या है। वहां निराई करें या बिसपायरीबैक सोडियम 100 मिलीलीटर खरपतवार नाशी को 200 लीटर पानी मे घोल बनाकर एक एकड़ में छिड़काव करें। खरपतवार प्रबंधन के बाद ही यूरिया की टाप ड्रेसिग करें। पशु पालन वैज्ञानिक डा. सुरेंद्र सिंह ने पशुओं को गुणवत्ता युक्त पशु आहार खिलाने की बात कहीं। अच्छा पशु आहार बनाने के लिए एक भाग गेंहू या मक्का का दलिया, एक भाग दाल की चूनी, एक भाग सरसों की खली मिलाकर उसमे 2.5 प्रतिशत खनिज मिश्रण एवं 2.5 प्रतिशत नमक मिलाए। गाय को तीन लीटर दूध पर एक किलो उक्त मिश्रण तथा भैंस को 2.5 लीटर दूध पर एक किलो आहार दें।

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