सौगातों की बौछार से चेहरों पर मुस्कान लाने का प्रयास

स्मृति का विकास पर फोकस रहा। हर छोटी-बड़ी समस्या को सुलझाने पर जोर दिया। किसी को नहीं किया निराश सुनी सब की पीड़ा और समाधान का भरोसा दिलाया।

By JagranEdited By: Publish:Wed, 21 Oct 2020 01:54 AM (IST) Updated:Wed, 21 Oct 2020 05:10 AM (IST)
सौगातों की बौछार से चेहरों पर मुस्कान लाने का प्रयास
सौगातों की बौछार से चेहरों पर मुस्कान लाने का प्रयास

दिलीप सिंह, अमेठी

केंद्रीय मंत्री व सांसद स्मृति ईरानी कारोना संक्रमण के बाद मंगलवार को अपनों के बीच पहुंची तो दशहरा व दीपावली के पहले हर चेहरे पर मुस्कान लाने की कोशिश करती दिखीं। विकास पर उनका फोकस रहा तो अमेठी की हर छोटी-बड़ी समस्या को सुलझाने पर पूरा जोर। एक दिनी दौरे में उन्होंने अमेठी के हर एक कोने में पहुंचने की कोशिश की। लोकार्पण व शिलान्यास के बहाने सौगातों की बौछार हुई तो आपदा में मुरझाए चेहरों पर चमक लाने के लिए उन्होंने सिस्टम को और सक्रिय करने की कोशिश करते हुए कहा कि हर चेहरे पर चमक व हर घर में खुशहाली लाना ही उनका सपना है। सांसद ने कहा कि कोरोना संकट में वह दिल्ली में रहते हुए भी अपनी अमेठी के हर पल करीब रहीं।

पिता ने सुनाई पीड़ा तो दिल्ली के डाक्टर से की बात : कलेक्ट्रेट के गेट पर जंगलराम नगर के देवीपाटन निवासी छेदी लाल पासवान ने बेटी राजकुमारी की बीमारी की पीड़ा केंद्रीय मंत्री को बताते-बताते रो पड़े तो स्मृति ने उन्हें संभालते हुए कहा, परेशान न हो, आपकी दीदी है ना। इसी के साथ उन्होंने अपने प्रतिनिधि विजय गुप्ता की ओर देखा और वह तत्काल दिल्ली एनसीआर के डाक्टर का नंबर लेकर उनसे केंद्रीय मंत्री की बात कराई। पिता ने बताया कि प्रतापगढ़ के सांसद संगम लाल गुप्ता ने भी अपनी निधि से इलाज के लिए पांच लाख रुपये दिए हैं। जो अभी तक नहीं मिला है।

दुष्कर्म पीड़ित परिवार से मिलीं स्मृति : जिले के मुसाफिरखाना की दुष्कर्म पीड़िता के परिवार से स्मृति ने मुलाकात की और कहा कि दोषियों को सख्त से सख्त सजा मिलेगी। कप्तान दिनेश सिंह से बात कर उन्होंने पीड़ित परिवार की मदद करने व दोषियों पर कठोर कार्रवाई करने के लिए निर्देशित किया।

दुर्गन व कालिकन धाम में टेका मत्था : शारदीय नवरात्र के चौथे दिन अपने संसदीय क्षेत्र पहुंची स्मृति ईरानी ने गौरीगंज के दुर्गन धाम व संग्रामपुर के कालिकन धाम मंदिर में पहुंच मां की पूजा-अर्चना की। इससे पहले वह मंदिर के बाहर चुनरी, नारियल व प्रसाद भी खरीदा।

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