एक लाख 35 हजार रुपये से पड़ी थी प्रयागराज में CMP डिग्री कालेज की नींव, पढ़िए यह खास खबर

एशिया के सबसे बड़े ट्रस्ट कायस्थ पाठशाला की देखरेख में सीएमपी डिग्री कालेज में स्थापना वर्ष सन् 1950 से बीएससी पाठ्यक्रम की शुरूआत हुई। पांच साल बाद ही 1955 में कालेज में कला संकाय की शुरूआत हुई जबकि 1957 में कालेज के विधि संकाय की स्थापना की गई थी।

By Ankur TripathiEdited By: Publish:Mon, 25 Jan 2021 12:00 PM (IST) Updated:Mon, 25 Jan 2021 04:07 PM (IST)
एक लाख 35 हजार रुपये से पड़ी थी प्रयागराज में CMP डिग्री कालेज की नींव, पढ़िए यह खास खबर
1950 में स्थापित किए गए इस संस्थान की आधारशिला एक लाख 35 हजार रुपये से रखी गई थी

प्रयागराज, जेएनएन। उच्च शिक्षा के क्षेत्र में प्रयागराज के मशहूर संस्थानों में शुमार सीएमपी डिग्री कालेज (चौधरी महादेव प्रसाद महाविद्यालय) की नींव चौधरी बाबू महादेव प्रसाद ट्रस्ट द्वारा रखी गई थी। राष्ट्र के विकास व युवा पीढ़ी को गुणवत्तापूर्ण शिक्षा प्रदान करने के उद्देश्य से 1950 में स्थापित किए गए इस संस्थान की आधारशिला एक लाख 35 हजार रुपये से रखी गई थी जिसमें से एक लाख रुपये बाबू महादेव प्रसाद ट्रस्ट और 35 हजार रुपये चौधरी महादेव प्रसाद की पुत्री भागवती देवी ने दिए थे। विज्ञान संकाय से आरंभ इस  संस्थान में वर्तमान में कला, वाणिज्य व विधि की भी पढ़ाई हो रही है। यहां से निकले मेधावी छात्र देश-दुनिया में अपनी प्रतिभा की आभा बिखेर रहे हैं।

बीएससी पाठ्यक्रम से हुई थी कालेज की शुरूआत

एशिया के सबसे बड़े ट्रस्ट कायस्थ पाठशाला की देखरेख में सीएमपी डिग्री कालेज में स्थापना वर्ष सन् 1950 से बीएससी पाठ्यक्रम की शुरूआत हुई। पांच साल बाद ही 1955 में कालेज में कला संकाय की शुरूआत हुई जबकि 1957 में कालेज के विधि संकाय की स्थापना की गई थी। वाणिज्य की पढ़ाई की शुरूआत वर्ष 1976 में हुई।  

पहले केपी इंटर कालेज के भवन में चलती थीं कक्षाएं

महाविद्यालय में विधि विभाग के आचार्य रहे प्रो. संत प्रसाद गुप्ता ने बताया कि सीएमपी डिग्री कालेज की स्थापना के समय 1950 में बीएससी की कक्षाएं केपी इंटरमीडिएट कालेज में संचालित होती थीं। तीन साल के बाद 1953 में कालेज अपनी वर्तमान जगह महात्मा गांधी मार्ग, जार्जटाउन में शिफ्ट किया गया। उस वक्त यह भवन आगरा जमींदार एसोसिएशन की बिल्डिंग हुआ करता था। विधि संकाय को भी 1990 में कमला नेहरू मार्ग स्थित कालेज के नए प्रांगण में स्थानांतरित किया गया।

पंडित जवाहरलाल नेहरू ने किया था छात्रावास का उद्घाटन

महाविद्यालय में दूर-दराज के क्षेत्रों से भी तमाम छात्र पढ़ने आते थे। प्रतिदिन आने-जाने में उन्हें मुश्किल होती थी। ऐसे में एक छात्रावास की आधारशिला रखी गई। वर्तमान में कालेज के मुख्य परिसर के समीप ही डॉ. संपूर्णानंद के नाम से निर्मित छात्रावास का 1957 में प्रधानमंत्री पंडित जवाहर लाल नेहरू ने उद्घाटन किया था। कमला नेहरू मार्ग स्थित नए परिसर में लड़कियों के लिए अलग विंग की स्थापना भी की गई है।

2016-17 से शुरू हुई परास्नातक पाठ्यक्रम की पढ़ाई

सीएमपी डिग्री कालेज अपनी स्थापना के समय से इलाहाबाद विश्वविद्यालय से संबद्ध था। वर्ष 2005 में इलाहाबाद विश्वविद्यालय को केंद्रीय दर्जा मिलने के बाद यह उसका घटक बन गया है। विज्ञान संकाय में आचार्य रहे प्रो. जीसी श्रीवास्तव ने बताया कि वर्ष 2015-16 में कालेज के इतिहास में अहम पड़ाव तब आया जब कालेज के सभी संकाय में परास्नातक कोर्स की पढ़ाई कराने की इलाहाबाद विश्वविद्यालय से अनुमति मिली जिसके बाद 2016-17 सत्र से कालेज में एमकॉम, एमएससी, एमए और एलएलएम की कक्षा शुरू हुईं।

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