कोरोना को खुद नहीं लगाएं गले, कुछ दिन बिरयानी, चाट-पकौड़े, गोलगप्पे की दुकानों की भीड़ से बनाएं दूरी
अपने आसपास लोग जान गंवा रहे हैं या सांस लेने के लिए तड़प रहे हैं। परिवार के परिवार कोरोना की चपेट में हैं। हम अपने रिश्तेदार मित्र करीबी या पड़ोसी को कोरोना की वजह से खोकर दुखी हो रहे हैं लेकिन इसके बावजूद बाज नहीं आ रहे हैं।
प्रयागराज, जेएनएन। टीवी चैनल हों या न्यूजपेपर, सब कोरोना वायरस की भयावहता की खबरों से भरे रहते हैं। अस्पतालों में कोरोना वायरस संक्रमितों को भर्ती करने के लिए बेड नहीं हैं तो अंतिम संस्कार के लिए लकड़ियां कम पड़ रही हैं। अपने आसपास लोग जान गंवा रहे हैं या सांस लेने के लिए तड़प रहे हैं। परिवार के परिवार कोरोना की चपेट में हैं। हम अपने रिश्तेदार, मित्र, करीबी या पड़ोसी को कोरोना की वजह से खोकर दुखी हो रहे हैं लेकिन इसके बावजूद बाज नहीं आ रहे हैं। घर से निकलकर कुछ किलोमीटर दूर तक जाने पर जगह-जगह खानपान की दुकानों पर ऐसे भीड़ लगी दिख रही है कि जैसे कोरोना का कोई डर नहीं है और उसी भीड़ में जाकर खाना जरूरी है। यह शहर के लोगों की घोर नामसमझी है। चाट-पकौड़े, बिरयानी, गोलगप्पे खाने के लिए लोग टूटे पड़ रहे हैं। न खुद की चिंता है और न परिवार और समाज की। यह तो सरासर अपराध जैसा है।
बिरयानी रेस्टोरेंट पर की पुलिस ने सख्ती
सिविल लाइंस में बीएचएस के पास ओपन एयर बिरयानी रेस्टोरेंट में कई दिन से लोग ऐसे बिरयानी खाने के लिए टूट पड़ रहे थे जैसे भूख से बिलबिला रहे हों। रेस्टोरेंट संचालक ने भी लापरवाही की हद पार कर रखी थी। बोर्ड तो दिखावे के लिए जरूर लगा रखा है कि बिना मास्क नो आर्डर मगर ज्यादातर लोग मास्क लगाए बगैर आते और भीड़ जमा होती मगर कोई रोकटोक नहीं। रविवार शाम पुलिस को खबर मिली तो आकर डंडे पटककर लापरवाह ग्राहकों को वहां से हटाया और रेस्टोरेंट संचालक को फटकार लगाते हुए बंद करा दिया।
जगह-जगह लापरवाही का आलम
सोमवार दोपहर का वाकया है। खुल्दाबाद में समोसा-पकौड़े की एक छोटी दुकान पर भीड़ लगी दिखी। 12-15 लोग समोसे खाते दिखे। अब खाते वक्त तो वैसे भी मास्क नहीं लगा सकते। सब एक-दूसरे के आमनेे-सामने सटकर खड़े थे। अब ऐसे में कोरोना संक्रमण तो फैलना ही है। यही हाल हिम्मतगंज में एक गोलगप्पे की दुकान पर देखने को मिला। छोटा सा स्टाल और आठ-दस लोग गोलगप्पे खाने के लिए सटे खड़े थे। रोज खबरें आ रही हैं कि कोरोना के केस बढ़ते जा रहे हैं लेकिन किसी को फिक्र नहीं। मौत दर मौत का भी कोई डर नहीं। यह डर और खौफ तभी होता है जब खुद संक्रमित हो जाते हैं या फिर घर-परिवार या रिश्तेदारी में कोई कोरोना की वजह से मौत के मुंह में समा जाता है। ऐसे हालात में पुलिस-प्रशासनिक अधिकारी आगाह कर रहे हैं कि लोग सचेत और सावधान रहें। एसपी सिटी दिनेश सिंह की सलाह है कि लोग जरूरी होने पर ही घर से निकलें और मास्क जरूर लगाएं। सैनिटाइजर भी साथ रखें। बेवजह भीड़ वाले स्थान, दुकान या रेस्टोरेंट में नहीं जाएं ताकि कोरोना वायरस के फैलाव को रोका जा सके।