प्रयागराज में बढ़ती जा रही ऑक्सीजन की किल्लत, लोगों ने घर में रख लिए सिलेंडर, भटक रहे जरूरतमंद

कंपनी के बाहर पुलिस फोर्स लगाई है। एसडीएम स्तर के अफसर जांच को दिन में एक बार पहुंचते हैं। गुरूवार को तो आइजी केपी सिंह भी एसएसपी सर्वश्रेष्ठ त्रिपाठी के साथ पारेरहाट यूनिट पहुंचे और वहां ऑक्सीजन उत्पादन के साथ ही वितरण के बारे में जरूरी हिदायत भी दी।

By Ankur TripathiEdited By: Publish:Fri, 23 Apr 2021 04:28 PM (IST) Updated:Fri, 23 Apr 2021 04:28 PM (IST)
प्रयागराज में बढ़ती जा रही ऑक्सीजन की किल्लत, लोगों ने घर में रख लिए सिलेंडर, भटक रहे जरूरतमंद
गुरूवार को तो आइजी केपी सिंह भी एसएसपी सर्वश्रेष्ठ त्रिपाठी के साथ पारेरहाट यूनिट पहुंचे

प्रयागराज, जेएनएन।ऑक्सीजन सिलेंडर भरने वाली इकाइयों को जिला प्रशासन ने अपने अधीन कर लिया है। एजेंसियों पर अब उन्हीं को ऑक्सीजन सिलेंडर मिल रहा है, जो अपने साथ अस्पताल का पर्चा और खाली सिलेंडर लेकर जा रहे हैं। हालांकि, तमाम लोगों ने सिलेंडर डंप कर लिए जिससे जरूरतमंद भटक रहे हैं। दावे तो सरकारी रेट पर ही सिलेंडर रीफिल करने के हैं लेकिन, सरकारी रेट के बारे में इकाइयों से जुड़े लोग बताने से कतराते हैं। दैनिक जागरण की रिपोर्ट।

नैनी में जितनी पर्चियां, उतने सिलेंडर
दावा किया कि नैनी स्थित पारेरहाइट केमिकल्स प्राइवेट लिमिटेड में जितनी पर्चियां कटती हैं, उतने सिलेंडर भरते हैं। जिला प्रशासन ने निर्देश दिया है कि कंपनी से अस्पतालों की जरूरत पूरी करें।

पुलिस फोर्स तैनात, अफसर करते जांच
मिलिट्री, रेलवे, सरकारी एवं प्राइवेट कोविड अस्पतालों को ही सिलेंडर दिए जा रहे हैं। कंपनी के बाहर पुलिस फोर्स लगाई है। एसडीएम स्तर के अफसर जांच को दिन में एक बार पहुंचते हैं। गुरूवार को तो आइजी केपी सिंह भी एसएसपी सर्वश्रेष्ठ त्रिपाठी के साथ पारेरहाट यूनिट पहुंचे और वहां ऑक्सीजन उत्पादन के साथ ही वितरण के बारे में जरूरी हिदायत भी दी।

बड़ा 500, छोटा 150 रुपये में भरता
विधायक हर्षवर्धन वाजपेयी के पीआरओ घनश्याम शुक्ल ने बताया कि बड़ा सिलेंडर 500 और छोटा 150 रुपये में भरा जाता है। दावा किया कि सिलेंडर सरकारी रेट पर भरकर आपूर्ति हो रही है।

लोग  नहीं वापस कर रहे हैं सिलेंडर
नैनी सब्जी मंडी के पीछे नारायण गैस सर्विस के एक स्टाफ ने बताया कि उनके यहां जिन लोगों ने ऑक्सीजन सिलेंडर लिया था। उन लोगों ने उसे डंप कर लिया है। लोग वापस नहीं कर रहे हैं।

साइज के हिसाब से लिया जाता चार्ज
जो तीमारदार मरीज के नाम का पर्चा और खाली सिलेंडर लेकर आ रहे हैं, उन्हें ऑक्सीजन दिया जा रहा है। स्टॉफ ने बताया कि सिलेंडर के साइज के हिसाब से चार्ज लिया जाता है।

इन आंकड़ों पर करिए गौर
7 क्यूबिक मीटर गैस होती है एक सिलेंडर में
500 सिलेंडर गैस उत्पादन की क्षमता बढ़ेगी
1,000 सिलेंडर रोज उत्पादन की क्षमता पर काम
2,000 सिलेंडर का उत्पादन है नैनी में
4,000 सिलेंडर की जरूरत है इस समय

chat bot
आपका साथी