बीमारी के सीजन में यह लापरवाही, काल्विन अस्पताल की पैथालाजी और ब्लड बैंक में नहीं हैं प्रभारी

काल्विन अस्पताल की स्थिति सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र से भी बदतर है। इन दिनों काल्विन अस्पताल की पैथालाजी और ब्लड बैंक मे सीनियर टेक्नीशियन ही प्रभारी हैं। पैथालाजी में प्रभारी डाक्टर का स्थानांतरण हो चुका है। यहां टीएलसी डीएलसी एलएफटी केएफटी विडाल यानी टाइफाइड और डेंगू टेस्ट की व्यवस्था है

By Ankur TripathiEdited By: Publish:Sat, 25 Sep 2021 10:00 AM (IST) Updated:Sat, 25 Sep 2021 10:00 AM (IST)
बीमारी के सीजन में यह लापरवाही, काल्विन अस्पताल की पैथालाजी और ब्लड बैंक में नहीं हैं प्रभारी
अस्पताल में कई मशीनें खराब, जरूरतमंद लोगों को समय पर नहीं मिल रही रिपोर्ट

प्रयागराज, जागरण संवाददाता। यह मौसम  लोगों को बीमार कर रहा है। घर-घऱ में लोग बुखार और खांसी से पीड़ित हैं। मोतीलाल नेहरू मंडलीय चिकित्सालय यानी काल्विन अस्पताल की पैथालाजी और ब्लड बैंक, प्रभारी विहीन हैं।पुराने शहर की सबसे घनी और सबसे बड़ी आबादी की सहूलियत के लिए काल्विन अस्पताल संचालित है लेकिन संक्रामक बीमारियों के सीजन में व्यवस्था को इस तरह से नजरअंदाज करना जरूरतमंद लोगों पर भारी पड़ रहा है। पैथालाजी में जांच की कई मशीन भी खराब है। यह हाल तब है जब शहर में ही सहायक निदेशक चिकित्सा एवं परिवार कल्याण भी बैठते हैं।

स्वास्थ्य केंद्र से भी बदतर है हालत

काल्विन अस्पताल की स्थिति सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र से भी बदतर है। इन दिनों काल्विन अस्पताल की पैथालाजी और ब्लड बैंक मे सीनियर टेक्नीशियन ही प्रभारी हैं। पैथालाजी में प्रभारी डाक्टर का स्थानांतरण हो चुका है। यहां टीएलसी डीएलसी, एलएफटी, केएफटी, विडाल यानी टाइफाइड और डेंगू टेस्ट की व्यवस्था है लेकिन एलएफटी (लिवर फंक्शन टेस्ट) और केएफटी (किडनी फंक्शन टेस्ट) की मशीनें खराब हैं। आजकल डेंगू और टाइफाइड की बीमारी सबसे ज्यादा फैली है। प्रत्येक दिन टेस्ट भी ओपीडी में डाक्टरों द्वारा खूब लिखे जा रहे हैं लेकिन पैथालाजी में नमूनों की जांच लेटलतीफ हो रही है। करीब दो महीने से यहां पैथालाजी प्रभारी नही हैं। यह दायित्व भी सीनियर लैब टेक्नीशियन ऊदल सिंह को संभालना पड़ रहा है।

ब्लड बैंक में भी हो रही उदासीनता

कुछ यही हाल काल्विन ब्लड बैंक का है। यहां प्रभारी तो कई महीने से नहीं हैं। अगस्त माह तक यहां सीनियर टेक्नीशियन के पास प्रभार था वह भी रिटायर हो चुके हैं। इसके चलते ब्लड बैंंक में अक्सर मनमानी के आरोप भी लग रहे हैं। काल्विन अस्पताल की प्रभारी प्रमुख चिकित्साधिकारी डा. इंदु कनौजिया कहती हैं कि किसी तरह से काम चल रहा है। पैथालाजी और ब्लड बैंक में प्रभारी न होने से वहां के टेक्नीशियन के कार्यों की हर समय निगरानी नहीं हो पाती।

chat bot
आपका साथी