दिसंबर माह तक ग्लोबल हो जाएंगी प्रयागराज के गांवों की पंचायतें, ग्रामीणों को मिलेगी ये सुविधाएं
प्रयागराज में 1540 ग्राम पंचायतें हैं। सभी पंचायत भवनों के डिजिटलाइजेशन होने के बाद लोगों को सुविधाएं मिलेंगी। इसके तहत आनलाइन आवेदन करने से लेकर खसरा खतौनी आदि की नकल जाति आय प्रमाण-पत्र जन्म व मृत्यु प्रमाण-पत्र एक ही छत के नीचे उपलब्ध कराया जाएगा।
प्रयागराज, [अतुल यादव]। डिजिटल गांवों की तरफ बढ़ते कदम से ग्रामीणों को सहूलियत मिलेगी। सरकार गांव में रहने वाले हर शख्स को इंटरनेट से जोडऩे की तैयारी कर रही है। इसके लिए पंचायत भवनों को मिनी सचिवालय के रूप में विकसित किया जा रहा है। पहले चरण में प्रयागराज के सात ब्लाकों में पंचायत भवनों को डिजिटल किया जा चुका है। दूसरे चरण में 13 ब्लाकों में करीब 70 फीसद काम हो चुका है। इसी वर्ष के दिसंबर माह तक सभी पंचायत भवन को डिजिटल कर दिया जाएगा। इसके बाद ग्रामीणों को अपने प्रपत्र बनवाने के लिए शहर के चक्कर नहीं लगाने होंगे। इसके अलावा और भी तमाम सुविधाएं उन्हें मिलेंगी।
प्रयागराज में 1540 ग्राम पंचायतें हैं
प्रयागराज में 1540 ग्राम पंचायतें हैं। सभी पंचायत भवनों के डिजिटलाइजेशन होने के बाद लोगों को सुविधाएं मिलेंगी। इसके तहत आनलाइन आवेदन करने से लेकर खसरा, खतौनी आदि की नकल जाति, आय प्रमाण-पत्र, जन्म व मृत्यु प्रमाण-पत्र एक ही छत के नीचे उपलब्ध कराया जाएगा।
बीबीएनएल ने इन ब्लाकों में पूरा किया कार्य
सरकारी संस्था भारत ब्राडबैंड नेटवर्क लिमिटेड (बीबीएनएल) की ओर से 2888 किलोमीटर पाइपलाइन (पीएलबी) और तीन हजार किलोमीटर आप्टिकल फाइबर केबल (ओएफसी) बिछाई जानी थी। पहले चरण में बहादुरपुर, मांडा, करछना, प्रतापपुर, फूलपुर, सोरांव व बहरिया ब्लाकों में काम पूरा हो चुका है।
दूसरे चरण में इन ब्लाकों को ओएफसी से जोड़ा जाएगा
दूसरे चरण में कौडि़हार, होलागढ़, मऊआइमा, सैदाबाद, हंडिया, धनुपुर, चाका, शंकरगढ़, उरुवा, कौंधियारा, मेजा, कोरांव व जसरा में काम जारी है। इनमें 1058 ग्राम पंचायतों को ओएफसी से जोडऩे का काम चल रहा है। अभी 600 किलोमीटर पाइपलाइन (पीएलबी) और 150 किलोमीटर आप्टिकल फाइबर केबल (ओएफसी) बिछाई जा रही है। इसके बाद पंचायत भवनों में कनेक्शन करने के साथ उपकरण भी लगाए जाएंगे। बताया जा रहा है कि 15 दिसंबर तक सभी पंचायत भवन को डिजीटल कर दिया जाएगा।
बीबीएनएल के उप महाप्रबंधक बोले- 20 फीसद काम बचा है
बीएसएनएल के उप महाप्रबंधक एनके यादव ने बताया कि शासन की मंशा के अनुरूप पंचायत भवनों को डिजिटल किया जा रहा है। इसके लिए बीबीएनएल सेटअपल लगाने के साथ मेनटेन भी करेगा। 20 फीसद काम शेष है। सभी पंचायत भवन को आप्टिकल फाइबर केबल से जोडऩे का काम 15 दिसंबर तक पूरा कर लिया जाएगा।
डीपीआरओ ने यह कहा
डीपीआरओ आलोक कुमार सिन्हा ने कहा कि शासन के आदेशानुसार हर पंचायत भवन को मिनी सचिवालय के रूप में विकसित किया जा रहा है। 822 ग्राम पंचायतों में पंचायत भवन नहीं था। यहां निर्माण कराया जा रहा है। इनमें 400 पंचायत भवन पूरे भी हो गए हैं। सभी पंचायत भवनों को डिजीटल करने का भी काम चल रहा है।