इलाहाबाद हाई कोर्ट में टीजीटी सहायक अध्यापक भर्ती को चुनौती, राज्य सरकार से जवाब तलब

हाई कोर्ट ने टीजीटी सहायक अध्यापक भर्ती में एक प्रश्न के उत्तर को लेकर दाखिल याचिका पर राज्य सरकार व माध्यमिक शिक्षा सेवा चयन बोर्ड से चार हफ्ते में जवाब मांगा है। चयनित विपक्षियों मालती देवी व निशा पांडेय को नोटिस जारी की है।

By Ankur TripathiEdited By: Publish:Wed, 08 Dec 2021 08:10 PM (IST) Updated:Wed, 08 Dec 2021 08:10 PM (IST)
इलाहाबाद हाई कोर्ट में टीजीटी सहायक अध्यापक भर्ती को चुनौती, राज्य सरकार से जवाब तलब
इलाहाबाद हाई कोर्ट ने चयन बोर्ड व राज्य सरकार से किया जवाब तलब

प्रयागराज, विधि संवाददाता। इलाहाबाद हाई कोर्ट ने टीजीटी सहायक अध्यापक भर्ती में एक प्रश्न के उत्तर को लेकर दाखिल याचिका पर राज्य सरकार व माध्यमिक शिक्षा सेवा चयन बोर्ड से चार हफ्ते में जवाब मांगा है। चयनित विपक्षियों मालती देवी व निशा पांडेय को नोटिस जारी की है। यह आदेश सरल श्रीवास्तव ने बाल मुकुंद त्रिपाठी व संगीता पांडेय की याचिका पर दिया है। याचिका पर अधिवक्ता एमए सिद्दीकी ने बहस की। इनका कहना है कि 16 मार्च 2021 को 12603 सहायक अध्यापक पदों की भर्ती निकाली गई। परिणाम घोषित किया गया तो याचीगण का नाम नहीं था। 26 अक्टूबर 2021 को उत्तरकुंजी जारी की गई। तब पता चला कि ''सीÓ सीरीज का प्रश्न 82 बदला गया है। याचीगण को 414.63 अंक मिले हैं। एक प्रश्न की जांच से याचियों का चयन हो जाएगा।

प्रबंधक जवाबी हलफनामा के साथ तलब

इलाहाबाद हाई कोर्ट ने डा. भीमराव आंबेडकर प्राथमिक विद्यालय धर्मगत गुलौरी, मऊ के प्रबंधक मोतीराम को जवाबी हलफनामा दाखिल न करने की दशा में मूल दस्तावेज के साथ पांच जनवरी 2022 को तलब किया है। कोर्ट ने इस दौरान उन्हें हलफनामा दाखिल करने का समय दिया है। कोर्ट ने जवाबी हलफनामा दाखिल करने का अंतिम अवसर दिया था। इसके बावजूद हलफनामा दाखिल नहीं करने पर यह आदेश दिया है। यह आदेश न्यायमूर्ति आलोक माथुर ने वरिष्ठ सहायक अध्यापक प्रेम सागर चौहान की याचिका पर दिया है।

याचिका पर अधिवक्ता सुधीर कुमार सिंह ने बहस की। याचिका में प्रबंध समिति द्वारा याची को बर्खास्त करने के आदेश की वैधता को चुनौती दी गई है। याची का कहना है कि बिना बीएसए के अनुमोदन के बर्खास्तगी आदेश अवैध है। प्रबंध समिति ने याची को विद्यालय काम में रुचि न लेने के आरोप में बर्खास्त कर दिया है। कोर्ट ने उक्त मामले में जवाब मांगा है। अंतिम समय देने के बाद भी जवाब दाखिल नहीं किया गया तो जवाब दाखिल करने या रिकार्ड के साथ हाजिर होने का निर्देश दिया है।

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