नवजात बच्ची को प्रयागराज के खेत में छोड़ा लावारिस, महिला सिपाही ने उठाया गोद में और पहुंचाया अस्पताल

कोरांव थाने की पुलिस सुबह गश्त पर थी तभी खबर मिली कि जवाइन और पसना गांव के बीच खेत में कोई बच्ची लावारिस रोते मिली है। दरअसल सुबह खेतों की ओर गई महिलाओं ने कपड़ों में लिपटी नवजात बच्ची को देखा था। उसकी गर्भनाल भी जस का तस मौजूद थी

By Ankur TripathiEdited By: Publish:Fri, 18 Jun 2021 04:17 PM (IST) Updated:Fri, 18 Jun 2021 04:23 PM (IST)
नवजात बच्ची को प्रयागराज के खेत में छोड़ा लावारिस, महिला सिपाही ने उठाया गोद में और पहुंचाया अस्पताल
पुलिस वहां पहुंची तो बच्ची को महिला सिपाही पीहू सिंह ने उठाकर गोद में ले लिया।

प्रयागराज, जेएनएन। अक्सर गलत वजह से सुर्खियों में आने वाली पुलिस के कर्मचारी जब कोई नेक कार्य करते हैं तो लोग दिल खोलकर सराहना भी करते हैं। खासतौर पर यमुनापार इलाके की पुलिस की पखवारे भर के भीतर दूसरी बार संवेदनशील तस्वीर सामने आई है। कोरांव थाने की एक महिला सिपाही को इलाके में गश्त के दौरान खेत में लावारिस नवजात बच्ची पड़े होने की जानकारी मिली तो उसे उठाकर सीने से लगाया और फिर बेहतर देखभाल व इलाज के लिए शहर के अस्पताल में भर्ती किया। बच्ची को कौन यूं छोड़ गया, ये पता नहीं चल सका।

सुबह महिलाओं ने देखा, फिर दी गई पुलिस को खबर

कोरांव थाने की पुलिस सुबह गश्त पर थी तभी खबर मिली कि जवाइन और पसना गांव के बीच खेत में कोई बच्ची लावारिस रोते मिली है। दरअसल सुबह खेतों की ओर गई महिलाओं ने कपड़ों में लिपटी नवजात बच्ची को देखा था। उसकी गर्भनाल भी जस का तस मौजूद थी यानी कुछ ही घंटे पहले उसका जन्म हुआ था। पुलिस वहां पहुंची तो बच्ची को महिला सिपाही पीहू सिंह ने उठाकर गोद में ले लिया। बच्ची रो रही थी इसलिए उसे शांत कराने के लिए सिपाही ने सीने से लगा लिया। फिर स्थानीय महिला और डॉक्टर की मदद से बच्ची को दूध पिलाया गया। इसके बाद उसे स्थानीय अस्पताल ले जाकर उसे डॉक्टर की निगरानी में दिया। दोपहर में बच्ची को बेहतर उपचार के लिए शहर लाकर दूसरे अस्पताल में बाल रोग विशेषज्ञ की निगरानी में भर्ती कराया गया। तब बच्ची कमजोर दिख रही थी। अस्पताल में डॉक्टरों ने कहा कि उसकी स्थिति जल्द ठीक होगी।

कौन है उसकी जन्मदाता, क्यों छोड़ दिया यूं बेसहारा

बच्ची तो अब सुरक्षित है वरना उसे जन्म देने वाली मां ने तो खुले खेत में लावारिस रख दिया था जहां उसे कुत्ते जैसे दूसरे जानवर शिकार बना सकते थे। आखिर किसने की ऐसी क्रूरता उस मासूम से, यह सवाल इलाके के लोगों की जबान पर है। क्या उसे कन्या होने की वजह से यूं बेसहारा छोड़ दिया गया या फिर कोई और वजह है। कुछ ही दिन पहले जारी इलाके में रात में आटो खराब होने की वजह से उसमें बैठी दर्द से कराह रही गर्भवती महिला को गश्त पर निकले सिपाहियों ने परिवार सहित अस्पताल पहुंचाया तो उनकी खासी सराहना की गई थी। 

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