Narendra Giri Death Case: महंत नरेंद्र गिरि के पैतृक घर में पसरा सन्नाटा, चचेरे भाई बोले- सुसाइड नोट फर्जी है
Narendra Giri Death Case महंत नरेंद्र गिरि की मां सुराजा देवी का भी निधन भी 20 वर्ष पूर्व हो गया था। नरेंद्र गिरि की शिक्षा दीक्षा हंडिया थाना क्षेत्र के गिर्दकोट आमेपुर नाना सरजू सिंह के यहां हुई थी। वे चार भाइयों में दूसरे नंबर पर थे।
प्रयागराज, जेएनएन। अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष महंत नरेंद्र गिरि का पैतृक आवास प्रयागराज के सरायममरेज थाना क्षेत्र में है। सरायममरेज के छतौना गांव में महंत नरेंद्र गिरि का पैतृक आवास है। महंत जी के पिता श्री भान सिंह आज के 50 वर्ष पूर्व अज्ञात कारणवश घर छोड़ कर चले गए थे। वह घर नहीं लौटे और उनके संबंध में किसी को कुछ जानकारी है।
महंत नरेंद्र गिरि की मां सुराजा देवी का भी निधन भी 20 वर्ष पूर्व हो गया था। नरेंद्र गिरि की शिक्षा, दीक्षा हंडिया थाना क्षेत्र के गिर्दकोट आमेपुर नाना सरजू सिंह के यहां हुई थी। वे चार भाइयों में दूसरे नंबर पर थे। बड़े भाई अशोक कुमार सिंह नाना स्वर्गीय सरजू सिंह द्वारा स्थापित इंटर कालेज में शिक्षक थे। अब वह सेवानिवृत्त हैं। नरेंद्र गिरि के तीसरे नंबर के भाई अरविंद कुमार सिंह भी नोएडा में शिक्षक हैं। वहीं चौथे नंबर पर आनंद कुमार सिंह जल पुलिस संगम प्रयागराज में गार्ड हैं।
बताते हैं कि महंत नरेंद्र गिरि अपनी दो बहनों उर्मिला देवी व मंजू देवी एवं किसी भी भाई के शादी विवाह में भी घर नहीं आए थे। 2014 में अपने चचेरे भाई विजय कुमार के पुत्र मृत्युंजय की सगाई में 10 मिनट के लिए घर महंत आए थे। उन्होंने 1993 में संन्यास ग्रहण कर लिया था। तब से घर पर नहीं आते थे। महंत नरेंद्र गिरि के बड़े भाई अशोक कुमार सिंह अपने पैतृक जमीन पर आवास बनाकर रह रहे हैं। भाई अरविंद सिंह नोएडा में ही परिवार सहित रहते हैं। चौथे भाई आनंद सिंह मोहिद्दीनपुर स्थित पेट्रोल पंप के पास अपना आवास बनाकर रह रहे हैं।
सोमवार को महंत नरेंद्र गिरि की अप्रत्याशित मौत के बाद सभी स्तब्ध हैं। वहीं गांव में सन्नाटा पसरा हुआ है। मंगलवार को गांव स्थित पैतृक आवास पर महंत नरेंद्र गिरि के चचेरे भाई दिलीप सिंह का कहना है कि महंत जी के कमरे में मिला सुसाइड नोट फर्जी है। महंत जी द्वारा लिखा गया सुसाइड नोट नहीं है। मामले की उच्च स्तरीय जांच की आवश्यकता है।