Corona Curfew के चौथे दिन प्रयागराज की थोक मंडी सब्जियों से पटी, बिक्री न होने से किसान व व्‍यापारी मायूस

कोरोना कर्फ्यू के कारण प्रयागराज की थाेक मुंडेरा सब्‍जी व फल मंडी में फुटकर व्यापारियों और ग्राहकों के मंगलवार को न पहुंचने के कारण सब्जियां डंप रहीं। वहीं पुलिस सुबह साढ़े सात बजे से ही व्यापारियों और किसानों को भी मंडी से खदेडऩा शुरू कर दिया।

By Brijesh SrivastavaEdited By: Publish:Tue, 04 May 2021 09:45 AM (IST) Updated:Tue, 04 May 2021 09:45 AM (IST)
Corona Curfew के चौथे दिन प्रयागराज की थोक मंडी सब्जियों से पटी, बिक्री न होने से किसान व व्‍यापारी मायूस
कोरोना कर्फ्यू खुलने की उम्मीद में किसान और थोक व्यापारी सब्‍जी मंडी पहुंचे लेकिन सब्जियों की बिक्री नहीं हुई।

प्रयागराज, एनएन। कोरोना कर्फ्यू में दिन तक प्रयागराज की थोक सब्‍जी मंडी में सन्‍नाटा ही रहा। मंडी में सब्जियां भी कम आईं। मंगलवार को कोरोना कर्फ्यू खुलने की उम्मीद में किसान और थोक व्यापारी मंडी में प्रतिदिन की तुलना में ज्यादा सब्जियां लेकर पहुंच गए। हालांकि यहां आने पर उन्‍हें कोरोना कर्फ्यू बढऩे की जानकारी हुई तो उन्‍हें मायूस होना पड़ा। 

पुलिस ने किसानों व व्‍यापारियों को खदेड़ा

कोरोना कर्फ्यू के कारण प्रयागराज की थाेक मुंडेरा सब्‍जी व फल मंडी में फुटकर व्यापारियों और ग्राहकों के मंगलवार को न पहुंचने के कारण सब्जियां डंप रहीं। वहीं, पुलिस सुबह साढ़े सात बजे से ही व्यापारियों और किसानों को भी मंडी से खदेडऩा शुरू कर दिया। सब्जियां न बिकने से भारी मात्रा में हरी सब्जियां बर्बाद हो गईं। इससे सब्जियों के फुटकर रेट और भी बढ़ने की संभावना है। 

थोक में सब्जियों के रेट भी कम

सब्जियां न बिकने से रेट भी बहुत कम रहे। भिंडी तीन से चार रुपये, करैला पांच से छह रुपये, टमाटर चार से आठ रुपये, नेनुआ का दाम 10 रुपये किलो था। लौकी पांच रुपये प्रति पीस में बिकी। कद्दू चार-पांच रुपये, लोबिया 20 रुपये, खीरा 10 रुपये, आलू 10 से 12 रुपये, प्याज 10 से 15 रुपये, परवल 15-20 रुपये, गाजर 10 रुपये किलो रहा। 

फुटकर में सब्जियों की कीमत चार से पांच गुना

हालांकि, फुटकर में सब्जियों की कीमतें बहुत बढ़ी है। थोक की तुलना में फुटकर सब्जियों की कीमतें चार-पांच गुना ज्यादा रेट पर बिक रही हैं। मुंडेरा सब्जी एवं फल व्यापार मंडल के अध्यक्ष सतीश कुशवाहा का कहना है कि तीन दिन की रुकी सब्जियां भी गंगापार, यमुनापार, कौशांबी, धाता, फतेहपुर और आसपास के जिलों से मंडी में बहुत आ गई हैं। पुलिस की जगह-जगह सख्ती और पहरे के कारण फुटकर दुकानदार मंडी तक नहीं पहुंचे। इसकी वजह से सब्जियों की कीमत बहुत कम रही। बिक्री न होने से हरी सब्जियां प्रतिदिन बहुत ज्यादा मात्रा में बर्बाद हो रही हैं। किसानों और आढ़तियों को बहुत नुकसान उठाना पड़ रहा है। किसानों का भाड़ा भी नहीं निकल रहा है।

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