Fraud in Railway Recruitment: ग्रुप डी की परीक्षा में फर्जीवाड़ा के दो अन्‍य आरोपित भी पकड़े गए, किए गए डिबार

Fraud in Railway Recruitment आरआरसी के चेयरमैन अतुल मिश्रा ने बताया कि इन लोगों ने परीक्षा के दौरान अपनी जगह दूसरे को बैठाया था। जब प्रमाण पत्रों की जांच करवाने आए तो फोटो और बायोमीट्रिक की जांच में पकड़े गए। इन युवकों को डिबार कर दिया गया है।

By Brijesh SrivastavaEdited By: Publish:Fri, 23 Jul 2021 03:02 PM (IST) Updated:Fri, 23 Jul 2021 03:02 PM (IST)
Fraud in Railway Recruitment: ग्रुप डी की परीक्षा में फर्जीवाड़ा के दो अन्‍य आरोपित भी पकड़े गए, किए गए डिबार
रेलवे भर्ती में फर्जीवाड़ा करने के आरोप में दो अन्‍य युवक भी पकड़े गए हैं।

प्रयागराज, जागरण संवाददाता। फर्जीवाड़ा करके रेलवे मेें ग्रुप डी की नौकरी पाने की फिराक में रहे दो युवक भर्ती प्रक्रिया के अंतिम चरण में पकड़े गए। दोनों युवकों को आरआरसी चेयरमैन ने डिबार कर दिया गया है। यह दोनों युवक बिहार और राजस्थान के रहने वाले हैं। इससे पहले तीन युवकों को पकड़ा जा चुका है। बता दें कि इन अभ्‍‍यर्थियों के स्‍थान पर दूसराें ने परीक्षा दी थी। जांच में मामला उजागर हुआ था।

प्रमाणपत्र के सत्‍यापन में सामने आया था फर्जीवाड़ा

रेलवे भर्ती प्रकोष्ठ (आरआरसी) प्रयागराज से 2018 में ग्रुप डी की भर्ती निकली थी। इसमें लाखों अभ्यर्थी शामिल हुए थे। इसकी लिखित परीक्षा और फिजिकल टेस्ट हो चुका है। इस भर्ती प्रक्रिया में चयनित अधिकतर अभ्यर्थियों की नियुक्ति भी चुकी है। अब वेटिंग लिस्ट वालों को बुलाकर ग्रुप डी के बचे हुए पदों को भरा जा रहा है। इसी क्रम में आरआरसी में प्रमाण पत्र के सत्यापन के लिए 19 से 22 जुलाई तक 62 अभ्यर्थियों को बुलाया गया था।

पांच युवक फर्जीवाड़ा कर नौकरी पाने की फिराक में थे

चार दिन चले प्रमाण पत्रों की जांच के लिए 43 अभ्यर्थी ही उपस्थित हुए। इसमें से पांच युवक फर्जीवाड़ा करके नौकरी पाने के फिराक में थे। मनोज कुमार पुत्र राम सहाय निवासी भरतपुर राजस्थान और सुनील कुमार पुत्र इंद्रदेव निवासी भोजपुर बिहार काे फर्जीवाड़ा में पकड़ा गया।

आरआरसी के चेयरमैन बोले

आरआरसी के चेयरमैन अतुल मिश्रा ने बताया कि इन लोगों ने परीक्षा के दौरान अपनी जगह दूसरे को बैठाया था। जब प्रमाण पत्रों की जांच करवाने आए तो फोटो और बायोमीट्रिक की जांच में पकड़े गए। इन युवकों ने अपनी गलती कबूल ली है। अब इनको डिबार कर दिया गया है।

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